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राष्ट्रहानि करनेवाला भयंकर ‘वेलेंटाईन डे’ का निषेध करें ! – प्रमोद मुतालिक

माघ शुक्ल पक्ष तृतीया/चतुर्थी , कलियुग वर्ष ५११४

 बेलगांव (कर्नाटक) : १४ फरवरी २०१२ को देशके ४ महानगरोंमें ‘वेलेंटाईन डे’के नामपर अनेक विपरीत घटनाएं घटी । उनमें २०२ स्थानोंपर महिलाओंपर अत्याचार, मद्यप्राशनके कारण २४२ दुर्घटनाएं, ५६ स्थानोंपर महिलाओंका अपहरण, ३१८ व्यक्तियोंकी आत्महत्या, ११३ हत्याएं, १३२ व्यक्ति लापता, २ सहस्र ८०० करोड रुपयोंका मद्यविक्रय एवं ३ सहस्र ६०० करोड रुपयोंके मादक द्रव्योंका विक्रय, इस प्रकारकी भयंकर घटनाएं समाविष्ट हैं । यदि यह संख्या केवल ४ महानगरोंकी ही है, तो संपूर्ण देशकी संख्या कितनी होगी, इसका विचार ही न करें तो अच्छा है ! ऐसा भंयकर ‘लवर्स डे’ (‘वेलेंटाईन डे’) किसलिए ? एक ही दिनमें राष्ट्रकी इतनी अधिक हानि होती है, इसीलिए हम इसका विरोध करते हैं, ऐसा प्रतिपादन श्रीराम सेनाके राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री. प्रमोद मुतालिकने पत्रकार परिषदमें किया ।

यहांके कन्नड साहित्य भवनमें संपन्न पत्रकार परिषदमें प.पू. आसारामजीबापू प्रणित योग वेदांत सेवा समितिके श्री. घोरपडे, हिंदू जनजागृति समितिके श्री. गिरीश कुलकर्णी तथा श्रीराम सेनाके श्री. रमाकांत कोंडुसकर उपस्थित थे । ‘वेलेंटाईन डे’को विश्व हिंदू परिषद, शिवसेना, बजरंग दल, हिंदू जागरण वेदिके, समिति एवं वारकरी संप्रदायने विरोध दर्शाया है ।

श्री. प्रमोद मुतालिकने आगे कहा, ‘‘हमारा विरोध प्रेमके लिए नहीं हैं । ऐसा नहीं है कि प्रेम केवल युवक-युवतियां ही व्यक्त कर सकते हैं; अपितु माता-पिता, भाई-बहन, देश, धर्मके प्रति भी प्रत्येक व्यक्तिको प्रेम होना चाहिए । प्रेमका प्रदर्शन केवल एक दिनके लिए मर्यादित स्वरूपमें नहीं हैं । हिंदू संस्कृतिने हमें प्रत्येक व्यक्तिके प्रति स्नेहभाव रखना सिखाया है । १४ फरवरीको युवकोंके प्रबोधन हेतु वाहन फेरी एवं माता-पिता पूजन समारोहका आयोजन किया गया है । उपहारवस्तु तथा शुभेच्छापत्रोंका विक्रय करनेवाले इस बातका ध्यान रखें कि आर्थिक लाभके लिए आप हिंदू युवकोंका अनुचित मार्गदर्शन न करें ।’’ इस अवसरपर हिंदू जनजागृति समितिके प्रबोधनात्मक पत्रकोंका वितरण किया गया तथा योगवेदांत सेवा समितिकी ओरसे माता-पिता पूजनकी दृश्यश्रव्य-चक्रिका दिखाई गई ।

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात

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