‘बिहार की धर्मनिरपेक्षता शरिया की ओर ?’ इस विषय पर विशेष संवाद !
भारत में संविधान में समानता बताई गई है । ऐसा होते हुए भी बिहार के विद्यालयों में हिन्दू त्योहारों की छुट्टियां कम करके, मुसलमानों की छुट्टियां बढा दी गई हैं । ऐसा पहली बार नहीं हुआ, अपितु ऐसे अनेक प्रकरण हैं । जो राजकीय पक्ष संविधान संकट में है, ऐसा कहते हुए हंगामा मचाते हैं; वही संविधान का पालन नहीं करते । यह भारत का दुर्भाग्य है । ये लोग सत्ता के लिए देश और समाज का तनिक भी विचार करने के लिए तैयार नहीं हैं । बिहार के किशनगंज, पूर्णियाँ आदि स्थानों पर जाने पर ऐसा लगता है कि हम किसी ‘इस्लामिक स्टेट’ अथवा पाकिस्तान में आ गए हैं । पटना की कोतवाली में कब्रस्तान के निकट ही एक पुरातन मंदिर है । यह मंदिर कब्रस्तान बनने से बहुत पहले का होते हुए भी उस मंदिर को गिराने की नोटिस बिहार सरकार ने भेजी है । कुल मिलाकर इस्लाम से ग्रस्त राज्यकर्ता केवल इस्लाम का एजेंडा चला रहे हैं । येनकेन प्रकारेण बिहार को ‘इस्लामिक स्टेट’ बनाने के प्रयत्न शुरू हैं, ऐसा प्रतिपादन ‘भारतीय जनक्रांति दल’के राष्ट्रीय महासचिव श्री. राकेश दत्त मिश्रा ने किया । वे हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से आयोजित ‘बिहार की धर्मनिरपेक्षता शरिया की ओर ?’ इस विषय पर ऑनलाईन ‘विशेष संवाद’में बोल रहे थे ।
इस अवसर पर श्री. राकेश मिश्रा ने आगे कहा, बिहार के लोग शिक्षित हो गए, तो सरकार से प्रश्न पूछेंगे इसलिए शिक्षा का दर्जा सुधारने के स्थान पर यह देखा जा रहा है कि लोग शिक्षा से कैसे वंचित रहेंगे । बिहार में शिक्षा का दर्जा गिर रहा और गत 10-15 वर्षाें से शिक्षा का कोई भी मूल्यमापन नहीं हुआ । गत 30 वर्षाें में विकास के नाम पर बिहार में लोगों को केवल ‘मजदूर’ के रूप में अन्य राज्यों को आपूर्ति करने का षड्यंत्र शुरू है ।
इस अवसर पर ‘हिन्दू पुत्र संगठन’के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री. अविनाश कुमार बादल बोले, ‘‘हिन्दू विद्यार्थियों को 9 छुट्टियां, तो मुसलमान विद्यार्थियों को 10 छुट्टियां देकर ‘सेक्युलिरीजम’ और ‘समाजवाद’ के नाम पर ‘नमाजवाद’ लोगों पर थोपा जा रहा है । ये लोग मुसलमानों की चापलूसी में इतने डूब गए हैं कि उन्हें देश के बहुसंख्यक हिन्दुओं की कोई परवाह नहीं है । बीच में बिहार सरकार ने मुसलमानों के कब्रस्तान के लिए ‘घेराबंदी’ (क्षेत्रफल निश्चित) करने के नाम पर अनेक निजी और सरकारी भूमि हथिया ली । बिहार के शिक्षामंत्री तो हिन्दुओं के श्रीरामचरितमानस पर निरंतर आपत्तीजनक टीका-टिप्पणी करते हैं, तब भी उन पर कोई भी कार्रवाई नहीं होती; परंतु ‘हेट स्पीच’के सबसे अधिक अपराध बिहार में हिन्दुओं पर ही प्रविष्ट किए जाते हैं । कुल मिलाकर बिहार में हिन्दुओं के दमन का कार्य शुरू है; परंतु अब यह बहुत दिन तक नहीं चलेगा । उसका तीव्र विरोध किया जाएगा ।