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अखिल भारतीय हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन के ७वें दिन के पहले सत्र में ‘धर्मांतरण रोकना और घरवापसी की योजना’ इस विषय पर उद्बोधन सत्र

हमें जातिव्यवस्था को दूर कर हिन्दूव्यवस्था स्थापित कर हिन्दू राष्ट्र की स्थापना करने का प्रयास करना होगा । हमें अपने महापुरुषों के अधुरे सपनों को…

भारत को अखंड हिन्दू राष्ट्र बनाने से हमें कोई नहीं रोक सकता – टी. राजासिंह, भाजपा विधायक, तेलंगाना

हिन्दू राष्ट्र स्थापना के पूर्व आनेवाले तूफान का सामना करने के लिए प्रत्येक हिन्दू को सिद्ध रहना चाहिए । अब विचार करने का नहीं, कुछ…

नेपाल के हिन्दुत्वनिष्ठों द्वारा संतों और धर्मप्रेमियों का सम्मान !

संतों का रुद्राक्ष की माला और नेपाली टोपी पहनाकर सम्मान किया, वैसे ही सनातन की धर्मप्रचारक सद्गुरु (सुश्री) स्वाती खाडये का रुद्राक्ष की माला और…

दशम ‘अखिल भारतीय हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन’ को हिन्दुत्वनिष्ठों का स्वयंस्फूर्त प्रतिसाद !

इन्क्विजिशन’ के नामपर ईसाई मिशनरियों ने 250 वर्ष गोमंतकियों ने किए हुए अमानवीय और क्रूर अत्याचारों लिए ईसाई संस्था के प्रमुख पोप को गोमंतकियों की…

हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन के छठे दिन ‘विदेश के हिन्दुओं का रक्षण’ इस विषय पर उद्बोधन सत्र

नौकरी के निमित्त पश्चिमी देशों में जाने के कारण नेपाल में पाश्चात्य सभ्यता का प्रभाव बढ रहा है । इसलिए वहां अब हाथों से भोजन…

‘हिन्दू राष्ट्र की स्थापना में संतों का दायित्व’ इस विषय पर दशम हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन में उद्बोधन सत्र

जिनकी शारीरिक क्षमता है, वह देह से, बौद्धिक क्षमता है वह बुद्धि से, इस प्रकार सभी को स्वयं की क्षमता के अनुसार हिन्दू राष्ट्र की…

दशम अखिल भारतीय हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन में ‘जाँबाज हिंदुस्थानी सेवा समिति’ की ओर से धर्मवीरों का सम्मान !

दशम अखिल भारतीय हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन के व्यासपीठ पर ‘जाँबाज हिंदुस्थानी सेवा समिति’ के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, महामंत्री और कोषाध्यक्ष ने इन धर्मवीरों को यह सम्मानचिन्ह…

तृतीय हिन्दू राष्ट्र संसद में हिन्दू शिक्षापद्धति अपनाने पर हुआ विचारमंथन !

संसद के अधिकांश सदस्यों ने पाठ्यपुस्तकों में भारत का इतिहास बनानेवाले संतों, राष्ट्रपुरुष और क्रांतिकारियों का समावेश करने की मांग की ।

दशम अखिल भारतीय हिन्दू राष्ट्र अधिवेशन में ‘हिन्दुओं की शिक्षा प्रणाली’ इस विषय पर विचारमंथन

एक अंग्रेज अधिकारी थॉमस मुन्रो के ब्योरे के अनुसार वर्ष १८२६ में दक्षिण भारत में १ लाख २८ सहस्र विद्यालय थे । जिनमें ब्राह्मण, क्षत्रिय,…

इस्लामी जिहाद के विरोध में निरंतर संघर्ष करना होगा – प.पू. यती चेतनानंद सरस्वती, महंत, डासना पीठ, गाजियाबाद, उत्तर प्रदेश

इस्लामी जिहाद से घबराकर रोने के स्थान पर उनके विरोध में लडना चाहिए । देहली में धर्मांधों द्वारा घडवाए दंगे, कश्मीर में हिन्दुओं की होनेवाली…