छठे अखिल भारतीय हिन्दू अधिवेशन के तृतीय दिवस का सायं सत्र
‘संत, संप्रदाय और हिन्दू संगठनों का शासन की ओर से होनेवाला दमन विषय : संत, संप्रदाय और हिन्दू संगठनों का शासन की ओर से होनेवाला दमन’ इस विषय पर उद्बोधन सत्र
रामनाथी (गोवा) – हिन्दूभूषण ह.भ.प श्याम राठोड महाराज ने उपस्थित हिन्दुत्वनिष्ठों को संबोधित करते हुए कहा कि, गीता, गंगा, गायत्री, गुरु हिन्दू धर्म के मानबिंदु हैं, जो आज असुरक्षित हैं । शंकराचार्य जयेंद्र सरस्वती को झूठे आरोप में बंदी बनाया गया । इसी प्रकार, साध्वी प्रज्ञासिंह को बंदी बनाकर ९ वर्ष तक कारागार में भयंकर यातनाएं दी गईं । हमारे संतों पर लगाया गया एक भी आरोप आजतक सत्य सिद्ध नहीं हुआ है । देश को खुली चुनौती देनेवाली शक्तियां सक्रिय हैं । गाय सबके सामने काटनेवालों पर नहीं, उसे रोटी खिलानेवालों पर कार्यवाही की जाती है । हम पर छत्रपति शिवाजी, महाराणा प्रताप आदि देशभक्तों का ऋण है । स्वतंत्रत्र्यसैनिकों का अधूरा कार्य हमें पूरा करना । यह कार्य किसी एक संगठन का नहीं है । हम सबको संगठित होकर यह कार्य करना है । इसका दायित्व हम सभी संगठनों पर है ।
सनातन के हिन्दी ग्रंथ ‘विकार-निर्मूलन के लिए नामजप’ भाग १, २ और ३ का प्रकाशन
इस अवसर पर सनातन के हिन्दी ग्रंथ ‘विकार-निर्मूलन के लिए नामजप भाग १, २ और ३’ का प्रकाशन साबरमती, कर्णावती, गुजरात के संत श्री आसारामजी बापू आश्रम की धर्मप्रचारिका साध्वी रेखा बहन, हिन्दूभूषण ह.भ.प. श्याम राठोड महाराज, शिवसेना के तमिलनाडु राज्य अध्यक्ष श्री. जी. राधाकृष्णन और सनातन संस्था के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री. अभय वर्तक के हाथों हुआ ।