नई देहली : विश्व हिंदू परिषद ने सेंट्रल गवर्निंग काउंसिल के प्रस्ताव को पास कर केंद्र सरकार से मांग की है कि, अल्पसंख्यक आयोग और अल्पसंख्यक मंत्रालय को तुरंत समाप्त किया जाए। विहिंप के अनुसार सभी नागरिकों के अधिकारों की रक्षा के लिए मानवाधिकार आयोग काफी है।
विहिंप के इस प्रस्ताव में कहा गया है कि, अल्पसंख्यक आयोग इस तरह का वातावरण बनाता है जैसे भारत में मुस्लिम और ईसाई समाज पीडित है। विहिंप के अनुसार हकीकत में ये लोग केवल हिंदू समाज पर ही नहीं बल्कि दूसरे अल्पसंख्यकों जैसे बौद्ध और सिख समाज पर बर्बर अत्याचार करते हैं।
पीडित नहीं अत्याचारी
विहिंप के अनुसार, जिहादी और मिशनरी ‘पीडित’ नहीं ‘अत्याचारी’ हैं, जो अल्पसंख्यक आयोग जैसे संस्थाओं का फायदा लेकर अपने लिए सहानुभूति अर्जित करते हैं जिससे ये अपने हिंदू विरोधी और देश विरोधी षडयंत्रों को बिना रोक-टोक चलाते रहें।
राम मंदिर की मांग दोहराई
इसके साथ ही विहिंप के सेंट्रल गर्वनिंग काउंसिल ने केंद्र सरकार से मांग की है कि, संसद में अविलंब कानून बनाकर राम मंदिर बनाने की दिशा में सार्थक कदम उठाएं जाएं। विहिंप के अनुसार, अयोध्या में कानून बनाकर ही सरदार पटेल को सच्ची श्रद्धांजलि दी जा सकती है क्योंकि सोमनाथ मंदिर का निर्माण करनेवाले पटेल ने यह दिशा उसी समय साफ कर दी थी।
स्त्रोत : नवभारत टाइम्स