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‘बिलिवर्सवालों ने सांकवाळ (गोवा) में परिवाद करनेवाले हिन्दू युवक को बेहोश होने तक पीटा !

प्रमोद मुतालिक से कोई हिंसक घटना हुए बिना भी उन पर गोवा प्रवेश पर प्रतिबध लगानेवाला शासन गुंडागिरी करनेवाले हिंसक ‘बिलिवर्स’ के विरोध में परिवाद करने पर भी कार्रवाई क्यों नहीं करता ? क्या इस असहिष्णुता के संदर्भ में गोवा रक्षक आवाज उठाएंगे ?

  • संतप्त नागरिकों ने ‘बिलिवर्स’ की पिटाई कर उन्हें पुलिस के अधीन किया।

  • सांकवाळ के ‘बिलिवर्स’ केंद्र के संदर्भ में पिछले चार वर्ष से परिवाद करने पर भी सांकवाळ पंचायत एवं वेरणा पुलिसद्वारा परिवाद की उपेक्षा

वास्को : २८ जून को सांकवाळ के ‘बिलिवर्स’ के अनुयायियोंद्वारा यहां के बिलिवर्स केंद्र के विरोध में परिवाद करनेवाले स्थानीय युवक को मूर्छित होने तक पीटने की घटना हुई। इस घटना के पश्चात संतप्त नागरिकों ने ‘बिलिवर्स’ के अनुयायियों की पीटाई कर पुलिस के अधीन किया। मूर्छित अवस्था में हरि नाईक को १०८ रुग्णवाहिका से समीप ही चिखली कॉटेज चिकित्सालय में भरती किया गया। हरि नाईक के मामा मंगलदास नाईक ने चार लोगों के विरोध में पुलिस में परिवाद प्रविष्ट किया है। वेरणा पुलिस ने विलिवर्स के इन चार शिष्यों को नियंत्रण में लिया है।

हरि नाईक एवं मंगलदास नाईक ने पत्रकारों को इस घटना के संदर्भ में विस्तृत जानकारी दी।

१. सांकवाळ में एक किराए के मकान में ‘बिलिवर्स’ प्रार्थना करते हैं। इस मकान के समीप ही हरि नाईक का घर है। रात्रि मध्यरात्रि अपरिचित लोग आकर ऊँचे स्वर में संगीत लगा कर प्रार्थना करते हैं, जिससे अन्य लोग सो नहीं पाते। इस प्रकरण में हरि नाईक ने पिछले चार वर्ष से स्थानीय सांकवाळ पंचायत एवं वेरणा पुलिस में परिवाद प्रविष्ट किया है। (पिछले चार वर्ष से अनेक बार परिवाद करने पर भी पुलिस एवं प्रशासन ने इस ओर ध्यान क्यों नहीं दिया ? क्या प्रशासन युवक के प्राण निकलने की प्रतीक्षा कर रहे थे ? कहीं ऐसा तो नहीं कि बिलिवर्स से पुलिस एवं पंचायत की मिलीभगत है ? पुलिस एवं प्रशासन की इस भूमिका से नागरिकों ने यदि कानून हाथ में लिया, तो कोई आश्चर्य नहीं ! इससे पूर्व ही पुलिसकर्मियो को संवेदनशील होना चाहिए ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

२. क्या ‘बिलिवर्स’ के केंद्र में आनेवालों की जानकारी पुलिस के पास है ? पंचायत ने उन्हें अनुज्ञप्ति नहीं दी है। फिर भी यहां इतनी बडी संख्या में अपरिचित क्यों आते हैं ?, हरि नाईक ने अनेक बार ऐसे परिवाद किए हैं; परंतु सांकवाळ पंचायत एवं वेरणा पुलिस ने इसकी उपेक्षा की है !

३. २८ जून को मध्यरात्रि हरि नाईक अकेले ही अपने घर की ओर निकले, तो ताक में रहनेवाले ‘बिलिवर्स’ के चार अनुयायियों ने हरि नाईक को पकड कर उनके प्रार्थना स्थल की ओर खींच कर ले गए। (इससे स्पष्ट होता है कि सरकारद्वारा दुर्लक्ष करने से बिलिवर्सवाले कितने उद्दंड हो गए है ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

४. वहां उन्होंने हरि नाईक को बेसूध होने तक पीटा। पीटाई के समय हरि नाईक ने चिल्लाहट की।

५. चिल्लाहट सुन कर हरि नाईक के मामा मंगलदास नाईक केंद्र की ओर दौडे, तो उन्होंने देखा कि हरि नाईक को चार लोग पीट रहे हैं !

६. मंगलदास नाईक ने त्वरित दूरभाषद्वारा आसपास के ग्रामवासियों को सहायता हेतु बुलाया। ग्रामवासियों ने वहां जाकर हरि नाईक को मुक्त किया एवं ‘बिलिवर्स’ के अनुयायियों को यथेच्छ पीटा।

७. सांकवाळ में धार्मिक तनाव उत्पन्न होने की जानकारी प्राप्त होते ही वेरणा पुलिस ने बडी संख्या के साथ घटनास्थल पर जाकर चारों ‘बिलिवर्स’ के अनुयायियों को नियंत्रण में लिया। (यदि हरि नाईक के परिवाद पर पूर्व में ही ध्यान देकर बिलिवर्सवालों को समझाया होता, तो पुलिस को इतनी बडी संख्या में नहीं आना पडता; परंतु पुलिस इस प्रकार आचरण करते हैं मानो उन्हें ‘कुछ तो विपरीत होने तक कार्रवाई करना ही नहीं’, ऐसा ही प्रशिक्षण दिया हो ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

‘बिलिवर्स’ संघटन पर कार्रवाई करने की मांग

‘बिलिवर्स’ राज्य में हिन्दुओं को लालच दर्शा कर हिन्दुओं का धर्मपरिवर्तन कर रहे हैं। चिकित्सालय में जाकर रुग्णों की बीमारी का लाभ उठा कर उन्हें धर्मपरिवर्तित करना, शासकीय कार्यालय में बिलिवर्स का प्रचार करना, गांव-गांव जाकर बिलिवर्स के केंद्र स्थापित कर हिन्दुओं को विविध लालच दर्शा कर उन्हें वहां प्रार्थना के लिए बुला कर उनका धर्मांतरण करना आदि घटनाएं बिलिवर्स पंथीयोंद्वारा हो रही हैं। इसलिए अनेक स्थान पर धार्मिक एकता बिगड कर अनेक बार कानून एवं सुरक्षा का प्रश्न उत्पन्न हुआ है। (ऐसा होते हुए भी उनके विरोध में सांसद शांताराम नाईक, ऑल फॉर गोवा, आदि आधुनिकतावादी एवं स्वयं के ‘गोवा रक्षक’ कहनेवाले एक शब्द भी नहीं बोलते ! हिन्दू अधिवेशन से कानून एवं सुरक्षा संकट में आएगी, ऐसा उन्हें भ्रम होता है – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात) इससे पूर्व शिवोली के फोर पिलर चर्च में भी धार्मिक एकता एवं शांति बिगाडने का प्रयास किया गया है। इस संदर्भ में पुलिस में परिवाद भी प्रविष्ट किए गए हैं। अब सांकवाळ क्षेत्र में भी बिलिवर्सद्वारा धार्मिक एकता बिगाडने का प्रयास किया गया है। धार्मिक एकता बिगाडनेवाले बिलिवर्स संघटन पर कार्रवाई करने की मांग अब जोर पकडने लगी है ! (इसके विरोध में हिन्दुओं को संघटित रूप से आवाज उठा कर प्रशासन को कार्रवाई करने पर बाध्य करना चाहिए ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात

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