‘उठ बहना जाग जाओ ! हो तू दुर्गा, चंडी, गार्गी !’ . . . नाटिका के माध्यम से जागरण !
सोलापुर (महाराष्ट्र) : सोलापुर शहर एवं परिसर के विविध स्थानोंपर नवरात्रोत्सव मंडलोंद्वारा आयोजित नवरात्रि उत्सवों में हिन्दुओं को धर्मशिक्षा देकर उनमें व्याप्त धर्माभिमान जागृत हो और लव जिहाद, धर्मपरिवर्तन, महिलाओं के साथ छेडछाड, अतिप्रसंग, पाश्चात्त्यों का अंधानुकरण आदि समस्याओं पर बलि चढ रही हिन्दू महिलाओं को बचाने हेतु, साथ ही उनमें व्याप्त महिला शक्ति को जागृत करने हेतु हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से ‘जागो हिन्दू तेज, जागो’ इस नाटिका का प्रस्तुतीकरण किया जा रहा है !
इस नाटिका में सर्वश्री सिद्धेश्वर वीटकर, सतीश कुंचपोर, यशपाल वाडकर, रमेश पांढरे, लक्ष्मण साळुंखे, कु. कोमल रगडे आदि कार्यकर्ताओं ने सहभाग लिया।
इस नाटिका के माध्यम से यह संदेश दिया गया है कि, महिलाओं पर बढते अत्याचार, हिंसा आदि समस्याओं के विरोध में आत्मनिर्भर होकर ऐसी घटनाओं का सफलतापूर्वक सामना करना ही, एकमात्र उपाय है ! निर्भया, कोपर्डी आदि घटनाओं की पुनरावृत्ति टालने हेतु अब महिलाओं को स्वयं स्वसंरक्षण प्रशिक्षण लेकर स्वयं की और अन्यों की रक्षा करनी चाहिए।
पटाखों के माध्यम से हिन्दू देवताएं एवं राष्ट्रपुरुषों का किया जानेवाला अनादर, पटाखेंमुक्त आदर्श दीपावली मनाने का महत्त्व, रोहिंग्या मुसलमानों की भारत के सामने चुनौती आदि सामाजिक एवं राष्ट्रीय विषयों पर भी इस नाटिका के माध्यम से व्यापक उद्बोदन एवं जागृति की जा रही है। इस नाटिका को महिलाओं की लक्षणीय उपस्थिति रही !
क्षणचित्र
१. विविध नवरात्रोत्सव मंडलोंद्वारा गणेशोत्सव के समय ही इस नाटिका की मांग की गई थी !
२. अन्य नवरात्रोत्सव मंडलोंद्वारा भी इस नाटिका के प्रस्तुतिकरण की मांग की जा रही है !
३. इस नाटिका को देखने के पश्चात महिलाओंद्वारा ऐसे ही प्रशिक्षणवर्ग की मांग की गई है !
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात