मार्गशीर्ष कृष्ण पक्ष त्रयोदशी, कलियुग वर्ष ५११६
नई देहली : इराक और सीरिया में मौत बांट रहे आईएसआईएस के समर्थन का दावा करने वाली एक आवाज उठी है। दावा है कि ये लड़ाका भारत का है और आईएसआईएस चीफ अबु बकर अल बगदादी का हाथ मजबूत कर रहा है। इस खुलासे से एक बार फिर खुफिया एजेंसियां इस बात से चौकन्नी हो गई हैं कि आखिर भारत में तो आईएसआईएस पांव नहीं फैला रहा।
सूत्रों के मुताबिक अभी इराक और सीरिया में करीब २५ भारतीय आईएस की तरफ से लड़ रहे हैं। और मौजूदा संगठन भारतीय आतंकियों का एक गुट है जो ये दावा कर रहा है कि ये लोग अफगानिस्तान से अपनी लड़ाई लड़ रहे हैं। पहले ये लोग अल कायदा से जुड़ना चाहते थे।
इस बीच ये भी खबर आई है कि पश्चिमी देश सुन्नी कट्टरपंथी संगठन इस्लामिक स्टेट की ताकत को कमतर आंक रहे हैं। इस कट्टरपंथी संगठन ने दो लाख लड़ाकों की सेना खड़ी कर ली है। ये दावा एक कुर्दिश नेता ने किया है। कुर्द राष्ट्रपति मसूद बारजानी के कर्मचारी दल के प्रमुख फाद हुसैन ने रविवार को द इंडिपेंडेट को दिए एक इंटरव्यू में कहा है कि पश्चिमी खुफिया एजेंसियों का अनुमान है कि इस्लामिक स्टेट के पास लगभग ३१,५०० लड़ाके हैं, लेकिन असल में उनके लड़ाकों की संख्या इस अनुमान से सात से आठ गुना ज्यादा है। सीआईए और अमेरिकी खुफिया विभाग ने जिहादियों की संख्या के आकलन में केवल मूल सैनिकों की ही गिनती की है। उन्होंने कहा कि इस्लामिक स्टेट इराक और सीरिया में एक ही समय में हमला कर रहा है। उनकी इस क्षमता से उनके लड़ाकों की बढ़ती संख्या जाहिर होती है।
उन्होंने बताया कि पिछले महीने कुर्दिस्तान में सात अलग-अलग स्थानों के साथ-साथ उन्होंने पश्चिमी बगदाद के अनबर क्षेत्र की राजधानी रमादी और ईरान सीमा के पास बसे एक अरब-कुर्दिश शहर पर हमला कर दिया था। २० हजार या उससे अधिक लोगों से बात करना असंभव है। उन्होंने अनुमान लगाते हुए कहा कि आईएस हर तीसरे इराकी और सीरियाई नागरिकों पर शासन कर रहा है। ये नागरिक २५०,००० वर्ग किलोमीटर में रहते हैं और इनकी संख्या एक करोड़ से ज्यादा है। आईएस लड़कों की इस बड़ी संख्या से यह बात साफ तौर पर जाहिर होती है कि इन्हें खत्म करना बड़ा मुश्किल है। अमेरिकी हवाई हमले भी इन्हें इन इलाकों से दूर करने में आसानी से कामयाब नहीं हो सकते। जानकार भी मानते हैं कि ऐसा इसलिए है क्योंकि आईएस ये साबित करने में जुटा है कि वो ही दरअसल इस्लाम विरोधी लड़ाई लड़ रहे हैं।
इस बीच अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा की इस्लामिक स्टेट के खात्मे की प्रतिज्ञा को पूरा करने के लिए अमेरिका और उसके सहयोगी दलों ने बाधाओं से निपटने की तैयारी शुरू कर दी है। अमेरिकी जॉइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ के चेयरमैन, जनरल मार्टिन डेम्पसी शनिवार को अभियान का जायजा लेने के लिए बगदाद गए थे।
गर्दन काटने वाला सौदागर बना आईएसआईएस
इराक और सीरिया में तांडव मचाने वाले आईएसआईएस के आतंकवादियों ने एक और अमेरिकी पीटर कैसिंग का सिर धड़ से अलग करने का वीडियो जारी किया था। १६ मिनट के इस वीडियो को रविवार को सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर अपलोड किया है।
वीडियो यहाँ देखें
इस वीडियो में मास्क पहने आतंकी ने अमेरिकी नागरिक पीटर कैसिंग का सिर को धड़ से अलग करते हुए नहीं दिखाया। आईएसआईएस ने दावा किया है कि उसने सीरिया में अपहृत अमेरिकी एड वर्कर पीटर कैसिंग का सिर कलम कर दिया। इसके अलावा १८ सीरियाई नागरिकों की भी हत्या की गई है। इन्हें सीरियाई सैनिक बताया गया है। वीडियो में ये नकाबपोश कह रहा है कि पीटर एडवर्ड कैसिंग आपके देश का अमेरिकी नागरिक है।
पीटर कैसिंग का सिर कलम करने की घटना वीडियो के जरिए दिखाए जाने के बाद कैसिंग के माता-पिता ने कहा कि अपने बेटे की मौत से वो टूट गए हैं। एड और पौला कैसिंग ने ट्विटर पर पोस्ट किए गए बयान में कह है कि हमारा दिल ये जानकर टूट गया है कि हमारे बेटे अब्दुल-रहमान पीटर कैसिंग ने सीरियाई लोगों के प्रति अपने प्रेम और उन लोगों के कष्टों को कम करने की अपनी इच्छा के चलते अपनी जान गंवा दी।
कैसिंग ने इस्लाम स्वीकार करने के बाद अपना नाम अब्दुल-रहमान रख लिया था। पिछले एक साल से वो लापता थे। उन्हें सीरिया में अगवा कर लिया गया था। उसकी मौत की पुष्टि अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने की। २६ साल के कैसिंग को पिछले साल पकड़ा गया था और तीन अक्तूबर को जब ब्रिटिश सहायताकर्मी ऐलन हेनिंग का सिर कलम करने वाला वीडियो दिखाया गया तो उसके बारे में धमकी दी गई थी कि जल्द उसे भी मार दिया जाएगा। आखिरकार उसकी भी जान ले ली गई। आईएसआईएस इससे पहले दो अमेरिकी पत्रकार जेम्स फोले स्टीवन सोटलॉफ दो ब्रिटिश नागरिक डेविड हैंस और ऐलन हैनिंग की हत्या कर चुका है। दुनिया को अपना असली चेहरा दिखाने के लिए हर बार आईएसआईएस ने गला काटने की तस्वीरें भी सार्वजनिक की। इस बार इस नए वीडियो में अमेरिकी बंधक का सिर कलम करते नहीं दिखाया गया है।
अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने रविवार को बंधक बनाए गए अमेरिकी नागरिक पीटर कैसिंग की इस्लामिक स्टेट द्वारा हत्या किए जाने पुष्टि की है। अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा इस वारदात से भड़के हुए हैं। व्हाइट हाउस की तरफ से जारी ओबामा के बयान में कहा गया कि कैसिंग को आतंकवादी संगठन ने शैतानी कृत्य के जरिए हमसे छीन लिया। जो अमानवीयता से जुड़ी हुई है आज, हम अब्दुल रहमान कासिग के परिजन और परिवार के प्रति संवेदना जाहिर करते हैं और उनके लिए प्रार्थना करते हैं। हम इस दुख की घड़ी में उनके तकलीफ का अंदाजा नहीं लगा सकते।
राष्ट्रपति ओबामा ने कैसिंग की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने सीरिया संघर्ष में घायल हुए लोगों की जान बचाने का काम किया था और उसके काम को स्वार्थ रहित करार दिया। कैसिंग इस्लामिक स्टेट का बंधक बनाया गया तीसरा अमेरिकी नागरिक था। जिसका सिर काट कर हत्या कर दी गई। साफ है आईएसआईएस बार-बार अमेरिका को ये संदेश दे रहा है कि इराक में हालत बदतर होते जा रहे हैं।
आईएसआईएस ने मारे २५० सीरियाई सैनिक
आईएसआईएस की नजर में इंसान की जान की कोई कीमत नहीं है। वो उन्हें भेड़ बकरियों की तरह इकट्ठा करते हैं फिर गोलियों से भून देते हैं। वो आईएसआईएस के आतंकी है। उनके वीडियो दिल दहलाने वाले होते हैं। एक ऐसा ही वीडियो में आईएसआईएस के लड़ाके सीरिया के सैनिकों का सिर कलम कर रहे हैं। २५० लोग, शरीर पर सिर्फ एक कपड़ा, हाथ सिर पर रखे हुए रेगिस्तान में दौड़ रहे हैं। इस भीड़ में हर शख्स जानता है उसकी दौड़ बहुत दूर तक नहीं है, लेकिन फिर भी वो दौड़ रहे हैं। हाथों में बंदूक लिए, लबादे पहने कुछ लोग २५० लोगों को बकरियों की तरह हांक रहे हैं। ये लोग ऐसे दौड़ रहे हैं मानों शरीर में जान ही नहीं हो ये जानते हैं कि कुछ देर बाद इनके शरीर में जान रहेगी भी नहीं।
जानते हैं इस वीडियों में अपने ही शरीर का बोझ उठाए रेगिस्तान में दौड़ने वाले ये लोग कौन हैं और इन्हें भेड़ बकरी की तरह हांकने वाले लोग कौन हैं। ये वीडियो इराक और सीरिया में खौफ का नया नाम बन चुके आईएसआईएस नाम के आतंकी संगठन ने जारी किया है। उनका दावा है कि ये २५० लोग सीरियाई सेना के हैं। आईएसआईएस का दावा है कि एक हफ्ते पहले उन्होंने सीरिया के ताब्का एयरबेस से इन २५० सीरियाई सैनिकों पर बंधक बनाया था।
इस वीडियो की सच्चाई के बारे में समाचार एजेंसी रॉयटर्स से बात करते हुए एक आईएसआईएस के लड़ाके ने बताया कि हमने सभी २५० सैनिकों को मार दिया है। हम बता दें कि रविवार को सीरिया में आईएसआईएस के लड़ाकों ने ताब्का पर एयरबेस पर कब्जा कर लिया है। कहा जा रहा है कि यहां से आईएसआईएस के लड़ाकों को भारी मात्रा में हथियार गोला बारूद, टैंक जैसे हथियार हासिल हुए हैं।
मस्जिद के सामने एक कुर्द लड़ाके को मौत के घाट उताया गया, उसका वीडियो बनाया गया और उसके जरिए अमेरिका को इराक की लड़ाई से दूर रहने की चेतावनी दी गई। आईएसआईएस की इस आक्रामक नीति के बाद अब अमेरिका भी मान रहा है कि उसे इस आतंकी संगठन के खिलाफ और पुख्ता रणनीति बनाने की जरुरत है। अमेरिका की तमाम कोशिशों के बावजूद आईएसआईएस का ताकत बढ़ती जा रही है। आईएसआईएस ने नारंगी रंग के यूनिफॉर्म पहने कई कुर्द लड़ाकों की तस्वीर जारी की है। उसने चेतावनी दी है कि अमेरिका ने अगर कुर्द लड़ाकों का साथ देना बंद ना किया तो और हत्याएं होंगी। जिसका शिकार अमेरिकी नागरिक भी होंगे।
आईएसआईएस की क्रूर हत्याएं जा री हैं। वो जंग के सारे नियमों को ताक पर रखकर मानवता की हत्या करने में जुटा हुआ है।
स्त्रोत : आईबीएन लाईव