हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से तीन दिवसीय प्रथमोपचार प्रशिक्षण शिविर
आपातकाल के समय स्वरक्षणार्थ प्रथमोपचार प्रशिक्षण प्राप्त कर लेना, आवश्यक ! – श्री. नागेश गाडे, समुह संपादक, सनातन प्रभात
रामनाथी (गोवा) : ३१ अगस्त को सनातन आश्रम, रामनाथी में हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से तीन दिवसीय प्रथमोपचार प्रशिक्षण शिविर आयोजित किया गया था। उस समय सनातन प्रभात नियतकालिकों के समुह संपादक श्री. नागेश गाडेजी ने कहा कि, ‘परात्पर गुरु डॉ. जयंत आठवलेजी के साथ अनेक संतों ने जो बताया है, उसी के अनुसार शीघ्र ही आपातकाल आरंभ होकर पूरा विश्व तिसरे महायुद्ध की ओर ढकेला जानेवाला है !
आगामी कालावधी में प्राकृतिक आपत्तियों के साथ अनेक मानवनिर्मित आपत्तियां जैसे की आतंकवाद, युद्ध आदि आरंभ होनेवाले हैं। ऐसे समय में शासन-प्रशासन हिन्दुओं की रक्षा कर सकेगा अथवा उन्हें आवश्यक सहायता प्राप्त होगी अथवा नहीं इसकी निश्चिती नहीं ! यह बात स्पष्ट हुई है कि, हाल ही में हुई केरळ की बाढपीडित परिस्थिति साथ ही उत्तराखंड का जलप्रलय, मुंबई की अतिवर्षा अथवा अनेक उत्पन्न हिंसाचार एवं दंगों के समय शासन-प्रशासन हिन्दुओं की रक्षा करने में असफल रहा है ! इसी पार्श्वभूमि पर हिन्दुओं ने प्रथमोपचार प्रशिक्षण प्राप्त कर आपातकाल में संत, साधक एवं सज्जनों की रक्षा हेतु प्रयास करना यही कालानुसार साधना है !’
इस समय डॉ. प्रकाश घाळी, डॉ. दुर्गेश सामंत के साथ पूरे देश से आए ७४ शिविरार्थी उपस्थित थे।
श्री. नागेश गाडे ने आगे कहा कि,
‘हिन्दू राष्ट्र स्थापना प्रक्रिया में धर्मजागृति सभा, अधिवक्ता अधिवेशन, धर्मशिक्षण वर्ग के समान विविध अभियानों एवं उपक्रमों में साधक एवं धर्मप्रेमी सम्मिलित होते रहते हैं। उसी प्रकार ‘प्रथमोपचार प्रशिक्षण’ भी साधना का एक रूप है इस दृष्टि से प्रयास कर सकते हैं ! उसमें स्वयं प्रथमोपचार प्रशिक्षण प्राप्त करना एवं अन्यों को देना, इसी माध्यम से हिन्दुओं का व्यापक संगठन करना, वैद्यकीय क्षेत्र की दुष्प्रवृत्तियों का निर्मूलन करना एवं सबसे महत्त्वपूर्ण अपना मनोबल निरंतर के लिए सशक्त रखना आवश्यक है।
जिस प्रकार हिन्दू विधीज्ञ परिषद के माध्यम से अधिवक्ताओं का व्यापक संगठन किया गया, उसी प्रकार वैद्यकीय क्षेत्र से संबंधित व्यक्तियों का व्यापक संगठन हमें खडा करना है ! यह प्रयास साधना के आधार पर करें एवं सेवा में आनंद प्राप्त करें !’
कार्यक्रम के प्रारंभ मे पुरोहित श्री. चैतन्य दीक्षित ने शंखनाद किया। कार्यक्रम का सूत्रसंचालन श्रीमती स्वाती घोडके ने किया।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात