चर्च के कबूलनामे पर मचा हडकंप
पोलैंड स्थित एक शक्तिशाली कैथोलिक चर्च के कबूलनामे पर हडकंप मचा हुआ है। गुरुवार को छपी एक रिपोर्ट में चर्च ने स्वीकार किया कि बीते तीन दशकों में उसके लगभग ४०० पादरियों ने छोटे बच्चों और नाबालिगों का यौन शोषण किया है। गौरतलब है कि एक महीना पहले एक संस्था ने चर्च द्वारा किए गए यौन शोषण पर एक रिपोर्ट छापी थी। पोलिश बिशप ने कहा कि उनकी रिपोर्ट में ३८२ पादरियों ने ६२४ लोगों को अपना शिकार बनाया। इनमें १९८ बच्चों की उम्र १५ साल से कम और १८४ की उम्र १५ और १८ साल के बीच थी। बाकायदा आंकडों और तथ्यों के तौर पर पेश किए गए इस सनसनीखेज खुलासे में किसी भी गुनहगार का नाम उजागर नहीं किया गया है।
वॉरसा में आयोजित एक प्रेस-कॉन्फ्रेंस में पोलैंड के बाल अधिकार से संबंधित अधिकारी एडम जैक ने बताया, “हम सभी जानते हैं कि यहां से केवल एक शुरुआत हुई है।” वहीं, आर्कबिशप मारेक जड्राजेवेस्की ने पत्रकारों को बताया, “चर्च हर हाल में दोषियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रतिबद्ध है। लेकिन, यदि गुनहगार अगर अपनी गलती मानते हैं और अपने अंदर बदलाव लाने की इच्छा जाहिर करते हैं, तो उनके खिलाफ कार्रवाई में ढील भी दी जानी चाहिए।” आर्कबिशप का कहना था कि पीडोफिलिया (बच्चों के प्रति यौन झुकाव रखने वाला शख्स) केवल कैथोलिक चर्चों तक सीमित नहीं है, यह परिवार के अंदर भी बडे पैमाने पर व्याप्त है। हालांकि, अगर एक भी ऐसी घटना घटती है तो यह केवल दुख पहुंचाने और शर्मिंदा करने वाली है।
फरवरी महीने में एक संस्था ने उन बच्चों की देखभाल कर रही है, जिनका पोलैंड के विभिन्न कैथोलिक चर्चों के पादरियों ने योन शोषण किया। इस दौरान संस्था ने ४०० पादरियों द्वारा यौन-उत्पीडन के आंकडे और तथ्य इकट्ठा किए। ‘Be Not Afraid’ फाउंडेशन के कार्यकर्ताओं ने कैथोलिक चर्च की सर्वोच्च शख्सियत वेटिकन स्थित पोप फ्रांसिस को २७ पन्नों की रिपोर्ट सौंपी है और मांग की है कि पादरियों द्वारा बच्चों के यौन शोषण के खिलाफ उचित कदम उठाया जाए।
स्त्रोत : जनसत्ता