हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से राष्ट्रपति को ज्ञापन
मुंबई : श्री माता वैष्णोदेवी की प्राचीन गुफा के पास प्रतिदिन सुबह और सायंकाल आरती उतारी जाती है। इस आरती में देशभर के अनेक भक्त सम्मिलित होते हैं। इससे पहले श्री माता वैष्णोदेवी श्राईन बोर्ड आरती में सहभागी हर भक्त से प्रत्येकी १ सहस्र रुपए वसूल करता था; परंतु अब इसके आगे प्रति भक्त २ सहस्र रुपए वसूल किये जाएंगे ! श्री माता वैष्णोदेवी श्राईन बोर्ड ने हाल ही में ऐसी घोषणा की है !
श्री माता वैष्णोदेवी के दर्शन करने लाखों श्रद्धालु आते हैं। अबतक यह दिखाई दिया है कि वहां आनेवाले श्रद्धालुओं को सुविधाएं देना, तो दूर; किंतु शासन बहुसंख्या में आनेवाले हिन्दुओं पर ही अधिभार लगाती है ! यह निर्णय तो जानबूझकर हिन्दुओं के धार्मिक अधिकार पर मर्यादाएं डालने की घटना है और अत्यंत क्षोभजनक है ! इस मूल्यवृद्धि को तुरंत निरस्त कर हिन्दुओं को निःशुल्क आरती उतारनी दी जाए, साथ ही इस प्रकार का निर्णय कर भक्तों को लूटनेवाले श्री माता वैष्णोदेवी श्राईन बोर्ड विसर्जित कर वहां प्रशासक की नियुक्ति की जाए, इस मांग को लेकर एक ज्ञापन हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से राष्ट्रपति को भेजा गया है।
इस ज्ञापन में कहा गया है कि,
- श्री माता वैष्णोदेवी श्राईन बोर्ड के पास भक्तोंद्वारा अर्पित करोडों रुपए की धनराशि जमा हुई है। ऐसा होते हुए भी यह बोर्ड हिन्दुओं को लूट रहा है ! हाल ही में प्रयाग (उत्तर प्रदेश) में कुंभपर्व संपन्न हुआ। रेल प्रशासन ने कुंभपर्व हेतु रेल से आनेवाले श्रद्धालुओं पर अधिभार लगाने का निर्णय लिया था; किंतु हिन्दुओंद्वारा किए गए विरोध के कारण यह मूल्यवृद्धि वापस ली गई !
- इस दृष्टि से समस्त देवीभक्त और हिन्दू धर्माभिमानियों की यह मांग है कि इस प्रकार से और कहीं भी आर्थिक लूट हो रही हो, तो उसकी व्यापक जांच कर उसे तत्काल रोकने के आदेश दिए जाए !
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात