पनवेल के पिसारे गांव में हीन परिवारोंका धर्मपरिवर्तन करने के विरोध में गांव में जागृति करने के उद्देश्य से हिन्दू धर्मजागृति सभा का आयोजन !
पनवेल (महाराष्ट्र) : ईसाई मिशनरियोंद्वारा पिसारे गांव में हीन परिवारोंका धर्मपरिवर्तन करने के विरोध में गांव में जागृति करने के उद्देश्य से ८ दिसम्बर को गांव के एक विद्यालय में हिन्दू धर्मजागृति सभा का आयोजन किया गया था । उस समय हिन्दू जनजागृति समिति के श्री. बळवंत पाठक ने मार्गदर्शन करते हुए कहा कि प्रत्येक हिन्दू को धर्मशिक्षा ग्रहण कर धर्माभिमानी होना आवश्यक है, तब ही ईसाइयोंसे गांव की रक्षा हो सकती है । ४ सहस्र वर्ष पूर्व सम्पूर्ण पृथ्वी पर केवल हिन्दू ही थे । विदेशोंमें भी हिन्दुओंके अवशेष मिलेंगे । यह दिव्य इतिहास गांव गांव में सिखाकर हिन्दू राष्ट्र निर्मिति के कार्य में सम्मिलित होना ही धर्मपरिवर्तन से देश की रक्षा करने का एकमात्र विकल्प है ।
ह.भ.प. रामदास बाबा पाटील, जागाव की अध्यक्षता में तथा बाबा महाराज पावशे के नेतृत्व में यह सभा सम्पन्न हुई । इस अवसरपर बजरंग दल के श्री. मोतीराम गोंधळी, सभापति श्री. हरेश केणी, ग्रुप ग्रामपंचायत रोहिंजण के सरपंच श्री. सुभाष पाटील उपस्थित थे । २५० हिन्दुओंने संगठित होने का निश्चय व्यक्त किया ।
गोहत्या रोकने के लिए संगठित होना आवश्यक ! – श्री. मोतीराम गोंधळी
हमें राजनीति एवं समाजनीति दूर रखकर संस्कृति की रक्षा करनी चाहिए । गोहत्या रोकने के लिए सभी को संगठित होना चाहिए । धर्म की रक्षा के लिए पद, पक्ष छोडकर एकत्रित आना चाहिए ।
धर्मांध हिन्दुओंको हडप कर जाएं इससे पूर्व संगठित हों ! – श्री. सुभाष पाटील
गांव में धर्मांधोंने अस्थाई छत बनाकर नमाजपठन करना प्रारम्भ किया है । स्थाई मस्जिद के निर्माण के लिए मुझे ५० लक्ष रुपयोंका लालच भी दिया । उनके कहने में न आकर मैंने मस्जिद का विरोध किया । गांव में बैठक बुलाकर सब का मत पूछा । सभी ने एकमुख से विरोध का प्रस्ताव प्रशासन के समक्ष प्रस्तुत किया । आज धर्मांध भूमी हडप कर रहे हैं । कल हमें भी हडप जाएंगे । इसलिए संगठित होइए । हिन्दू धर्म के स्वाभिमान के लिए मैंने ५० लाख नकार दिए । (हिन्दुत्व के लिए ५० लाख नकारनेवाले श्री. सुभाष पाटील का अभिनन्दन ! – संपादक)
क्षणिकाएं :
१. गांव के सम्प्रदाय प्रमुख, विश्व हिन्दू परिषद के कार्यकर्ता, गांव के धर्माभिमानियोंने ईसाईयोंको गांव से भगाने का निश्चय व्यक्त किया ।
२. ग्रामवासियोंने प्रत्येक गांव में सभा आयोजित करने का निश्चय व्यक्त किया ।
३. सभास्थलपर सनातन की ओर से ग्रंथप्रदर्शनी तथा सात्त्विक उत्पादोंकी प्रदर्शनी भी लगाई गई थी ।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात