पौष शुक्ल पक्ष चतुर्थी, कलियुग वर्ष ५११६
अयोध्या (उत्तर प्रदेश) : देश में धर्मांतरण के मुद्दे पर जारी विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। विश्व हिंदू परिषद यानी विहिप अयोध्या में अगले माह ‘घर वापसी’ का एक बड़ा कार्यक्रम आयोजित करने जा रही है। इसमें चार हजार मुस्लिमों को हिंदू बनाए जाने की योजना है। कार्यक्रम का आयोजन भाजपा के पूर्व सांसद राम विलास वेदांती करा रहे हैं। हालांकि, उन्होंने इन मुस्लिम परिवारों के नाम बताने से यह कहते हुए इनकार कर दिया कि ऐसा करने से प्रशासन इन लोगों की ‘घर वापसी’ को रोकने का प्रयास करेगा। उन्होंने केवल इतना कहा कि ‘घर वापसी’ करने वाले ज्यादातर परिवार फैजाबाद, अंबेडकर नगर, गोंडा, बहराइच और सुल्तानपुर से हैं। उन्होंने दावा किया कि ये सभी मुस्लिम परिवार स्वेच्छा से ‘घर वापसी’ कर रहे हैं।
प्रशासन का रवैया सख्त
दूसरी ओर, विहिप के ‘घर वापसी’ कार्यक्रम को लेकर प्रशासन का रुख सख्त हो गया है। फैजाबाद के डीआईजी संजय कक्कड़ ने कहा कि कार्यक्रम का मकसद केवल सांप्रदायिक तनाव पैदा करना है और हम ऐसा नहीं होने देंगे। मुस्लिम लीग के स्थानीय नेता नजमुल हसन ने इस मामले में राम विलास वेदांती की गिरफ्तारी की मांग की है।
बजरंग दल ने कहा, या तो हिंदू धर्म अपना लें या देश छोड़ें बांग्लादेशी नागरिक…
मेरठ : बजरंग दल ने कहा है कि देश में रहने वाले सभी बांग्लादेशी नागरिकों के सामने केवल दो विकल्प हैं। पहला या तो वे भारत छोड़ दें या फिर हिंदू धर्म को अपना लें। बजरंग दल के स्थनीय संयोजक बलराज डूंगर ने कहा कि बांग्लादेशी लोग हमारे संशाधनों का दुरुपयोग कर रहे हैं।
क्या है चेतावनी
डूंगर ने कहा, ‘हमारी पहली मांग यही है कि बांग्लादेशी नागरिक भारत छोड़ दें क्योंकि वे हमारी सुविधाओं और संशाधनों का दुरुपयोग कर रहे हैं लेकिन अगर वे यहां रहना चाहते हैं तो उन्हें हिंदू धर्म में शामिल होकर हमारे तौर तरीके अपनाने होंगे। बांग्लादेशी भारत में शरणार्थी हैं और ४३ साल से हमारे देश में रह रहे हैं।’ ‘घर वापसी’ कार्यक्रम पर जारी विवाद के बारे में डूंगर ने कहा कि यह कार्यक्रम तो तब भी जारी था जब देश में यूपीए की सरकार थी। उन्होंने कहा कि ‘घर वापसी’ के आयोजन तो हमेशा से जारी रहे हैं।
वीचएपी सहमत नहीं
खास बात यह है कि बजरंग दल के नेता डूंगर के इस बयान से विहिप सहमत नहीं है। विहिप के स्थानीय संगठन सचिव सुदर्शन चक्र ने साफ किया कि वह बजरंग दल के नेता के बयान से पूरी तरह सहमत नहीं हैं। चक्र ने कहा, ‘भारत में करीब तीन करोड़ बांग्लादेशी नागरिक रह रहे हैं और इनके कारण बेरोजगारी और अपराध दर बढ़ी है। इन लोगों के पास राशन कार्ड और पहचान पत्र हैं। कई सरकारों ने इनको वोट बैंक की तरह इस्तेमाल किया है। लेकिनहम इनके धर्मांतरण कराने की बात से सहमत नहीं हैं।’
स्त्रोत : दैनिक भास्कर