पौष शुक्लपक्ष त्रयोदशी, कलियुग वर्ष ५११६
कोल्हापुर (महाराष्ट्र) – यहांके छत्रपति प्रमिलाराजे चिकित्सालय में दो ईसाई महिलाएं बाइबलकी जानकारी देकर तथा ईसामसीहके गुणगान कर रही थीं । येशूसे प्रार्थना करनेपर रोगी ठीक हो जाते हैं, यह कहकर फंसा रही थी । वहां उपस्थित हिंदू जनजागृति समितिके कार्यकर्ता श्री. सागर हंकारेको यह जानकारी मिली । तब उन्होंने तत्काल दूरभाषकर सर्वश्री मधुकर नाझरे और शिवानंद स्वामी को बुला लिया । इन सर्व कार्यकर्ताओं ने दोनों महिलाओं से प्रश्न पूछकर उनका षड्यंत्र उजागर किया । समिति के कार्यकर्ताओं ने उपस्थित हिंदुओं को भी आवाहन किया कि वे यह सर्व सहन न करें तथा वैचारिक प्रतिवाद करें । समितिके कार्यकर्ताओंके प्रखर प्रतिवादके कारण अंत में दोनों महिलाओं को चिकित्सालय से जाना पडा । (प्रत्येक स्थानपर ईसाइयोंके बढते हुए धर्मप्रसार को देखते हुए धर्मपरिवर्तन विरोधी कानून बनना आवश्यक है । अतः हिंदुओं के साथ होनेवाले धोखे को टालने के लिए भाजप शासन को तत्काल धर्म परिवर्तन प्रतिबंधक कानून बनाना चाहिए ! – संपादक)
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात