वाशिंगटन – अमरीका ने इस बात का खंडन किया है कि आतंकवाद के खिलाफ पाकिस्तान के सफल प्रयासों के लिए प्रमाण पत्र जारी करते हुए उसे आर्थिक मदद दी गई है। विदेश विभाग की प्रवक्ता जेन पास्की ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि विदेश मंत्री जॉन केरी ने आतंकवादी समूहों के खिलाफ पाकिस्तान की कार्रवाई में प्रगति को लेकर कांग्रेस में प्रमाणपत्र जारी नहीं किया है।
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पास्की ने कहा कि विदेश विभाग ने हाल में केरी लुकर बरमन विधेयक के तहत पाकिस्तान को प्रमाण पत्र जारी नहीं किया है ताकि आतंकवाद के खिलाफ उसकी लड़ाई और ठोस कदमों के लिए उसे आर्थिक मदद मुहैया करायी जाए। उन्होंने कहा कि साल 2013 में अमरीका ने पाकिस्तान को नेशनल इंटरेस्ट वेवर के तहत आर्थिक मदद का पैकेज दिया था। इसके लिए केरी लुकर बरमन विधेयक के तहत प्रमाण पत्र जारी नहीं किया गया था। हालांकि उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को अन्य माध्यमों से आर्थिक सहायता दी जाती है। उल्लेखनीय है कि पाकिस्तान की ओर से इस तरह की खबर आने से भारत ने विरोध जताया था।
भारतीय विदेश मंत्रालय ने जताई थी आपत्ति
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता सैयद अकरूद्दीन ने कल कहा था कि अमरीकी सरकार द्वारा पाकिस्तान को आतंकवाद के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय प्रयासों में सहयोग के प्रति आभार स्वरूप वित्तीय मदद हैरान करने वाली है। उन्होंने कहा था कि अमरीकी सरकार अपने कर दाताओं से प्राप्तधनराशि कैसे खर्च करती है यह उसका विशेषाधिकार है। हालांकि भारत यह कतई नहीं मानता कि पाकिस्तान ने लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद, हक्कानी नेटवर्क और अल कायदा के अड्डों को नष्ट करने या समर्थन समाप्त करने की दिशा में कोई महत्वपूर्ण प्रयास किए।
स्त्रोत : पत्रिका