चेन्नई : पतंजलि योग समिति की ओर से पितृपक्ष के उपलक्ष्य में २५ सितंबर २०२१ को एक ऑनलाइन विशेष प्रवचन का आयोजन किया गया था । इस सत्संग में हिन्दू जनजागृति समिति की पू. (श्रीमती) उमा रविचंद्रन्जी ने मार्गदर्शन किया ।
आरंभ में योग वेदांत समिति की ओर से नियमितरूप से लिया जानेवाला प्राणायाम का सत्र संपन्न हुआ । उसके उपरांत पू. (श्रीमती) रविचंद्रन्जी ने पितृपक्ष के उपलक्ष्य में ‘श्री गुरुदेव दत्त’ नामजप का महत्त्व विशद किया । इस अवसर पर मार्गदर्शन करते हुए पू. (श्रीमती) उमा रविचंद्रन्जी ने भगवान श्री दत्तात्रेय के जन्म और उनकी गुणविशेषताओं के विषय में जानकारी दी, साथ ही पितृपक्ष में श्री दत्तात्रेय का नामजप करना क्यों आवश्यक है ?, इसकी भी जानकारी दी । इस अवसर पर जिज्ञासुओं ने ‘क्या दोनों अभिभावकों के जीवित होते हुए भी महालय श्राद्ध करना चाहिए ?’, ‘विशिष्ट तिथि को श्राद्ध करने में समस्या हो, तो उसके लिए क्या विकल्प है ?’ आदि विविध प्रश्न पूछे । पू. (श्रीमती) उमा रविचंद्रन्जी ने इन सभी प्रश्नों के परिपूर्ण उत्तर दिए । पतंजलि योग समिति की आचार्य श्रीमती प्रफुल्लता रामचंद्रन् ने इस सत्संग का आयोजन किया था ।
क्षणिकाएं
१. श्रीमती जमुना गणेश ने श्री गुरुदेव दत्त नामजप करने के कारण उनके जमाई के प्राण कैसे बच गए, इस विषय में अनुभूति बताई ।
२. श्रीमती प्रफुल्लता रामचंद्रन् ने हिन्दू जनजागृति समिति से प्रत्येक महिने को इस प्रकार से विशेष सत्संग लेने का अनुरोध किया ।