भोजपुरी भाषा पढाने को भी मिली मंजूरी
केंद्र सरकार ने सोमवार को लोकसभा को बताया कि राज्य सरकारें अगर चाहें तो स्कूलों में भगवद गीता पढ़ाने का प्रावधान कर सकती हैं। शिक्षा राज्य मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने निचले सदन में प्रश्नकाल के दौरान भाजपा सांसद गोपाल शेट्टी के पूरक प्रश्न के उत्तर में यह टिप्पणी की।
सुखद है कि कई माननीय सांसद विद्यालयों में भगवदगीता पढ़ाये जाने की मांग कर रहे हैं। CBSE के सिलेबस में भगवदगीता से संबंधित अध्याय हैं।
राज्य सरकारें भी रुचि लें तो आज़ादी के अमृत महोत्सव वर्ष में एक सकारात्मक शुरुआत हो सकती है।@iGopalShetty @dpradhanbjp @EduMinOfIndia @BJP4India pic.twitter.com/1mrjHePImA— Annapurna Devi (@Annapurna4BJP) December 21, 2021
उन्होंने यह भी कहा कि स्कूलों में भोजपुरी पढ़ाए जाने के प्रावधान भी राज्य सरकारें कर सकती हैं। मंत्री ने कहा कि नई शिक्षा नीति के तहत बच्चों को क्षेत्रीय भाषाओं की पढ़ाई पर जोर दिया गया है।
दरअसल संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान महाराष्ट्र के भाजपा सांसद गोपाल शेट्टी ने प्रश्नकाल के दौरान सदन में सवाल किया था कि क्या सरकार देश भर के स्कूलों में श्रीमद्भगवद गीता को पढ़ाने पर विचार कर रही है। इसका जवाब देते हुए भारत सरकार की केंद्रीय शिक्षा राज्यमंत्री अन्नपूर्णा देवी ने संसद में कहा कि संविधान के तहत शिक्षा राज्य का विषय है, अगर राज्य सरकारें चाहे तो श्रीमद्भगवद गीता को स्कूलों के पाठ्यक्रम में शामिल कर सकती है। केंद्रीय शिक्षा राज्यमंत्री ने आगे बताया कि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) की कक्षा सातवीं और आठवीं में श्रीमद्भगवद गीता के कुछ अंशों को पढ़ाया भी जा रहा है।
स्त्रोत : अमर उजाला