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स्वस्तिक पर प्रतिबंध लगानेवाले बिल पर झुका कनाडा, सांसद बोले – ‘गलती हुई, हुक्ड क्रॉस कहेंगे’

हिन्दुत्वनिष्ठ संगठन एवं उनके द्वारा इस विरोध में किए अभियान के प्रयासों की सफलता !

कनाडा में स्वस्तिक पर प्रतिबंध लगाने की मांग वाले बिल को लेकर भारतीयों का विरोध रंग लाया है। स्वस्तिक को नाजी प्रतीक बताते हुए बैन की मांग करने वाले सांसद ने अब प्रस्तावित विधेयक की भाषा को बदलने पर सहमति दी है। अब इस बिल में नाजी प्रतीक को स्वस्तिक की जगह हुक्ड क्रॉस कहा जाए। बता दें कि, स्वस्तिक को सनातन धर्म पर पवित्र प्रतीक चिह्न माना जाता है। ऐसे में कनाडा में प्रस्तावित विधेयक में हुक्ड क्रॉस की बजाय स्वस्तिक शब्द का उपयोग किए जाने पर भारतीय समुदाय के लोगों ने आपत्ति जताई थी। इस विधेयक के खिलाफ हिंदू फेडरनेशन नाम के संगठन ने प्रदर्शन किया था।

इस विरोध के बाद न्यू डेमोक्रेटिक पार्टी के सांसद पीटर जुलियन ने कहा, ‘मैं प्रस्तावित बिल सी-229 की भाषा में बदलाव के लिए तत्पर हूं। स्वस्तिक की जगह पर अब मैं हुक्ड क्रॉस शब्द का इस्तेमासल करूंगा। नाजी शब्द के इसका ही इस्तेमाल किया जाएगा।’ इस प्राइवेट मेंबर बिल को एनडीपी के नेता जगमीत सिंह का भी समर्थन हासिल है। इस बिल में प्रस्ताव था कि कनाडा में नाजी स्वस्तिक चिह्न की बिक्री और उसके प्रदर्शन पर रोक लगाई जाएगी। बीते दिनों कनाडा की राजधानी ओटावा में हुए ट्रक आंदोलन में इस चिह्न का इस्तेमाल किया गया था।

इसके बाद ही इस तरह का प्रस्ताव आया था। इस बिल के समर्थन में जगमीत सिंह ने ट्वीट किया था, ‘स्वस्तिक या फिर कनफेडरेट के झंडों का कनाडा में कोई स्थान नहीं है। हमारे ऊपर यह जिम्मेदारी है कि हम सभी को सुरक्षित महसूस कराएं। यह समय है, जब कनाडा में हेट सिंबल्स पर बैन लगा दिया जाना चाहिए।’ हालांकि विरोध के बाद न्यू डेमोक्रेटिक पार्टी ने अपने रुख को बदला है। हिंदू फेडरनेश के नेता पंडित रूपनाथ शर्मा को भेजे ईमेल में सांसद पीटर जुलिया ने लिखा, ‘मैं समझता हूं कि स्वस्तिक का हिंदू, बौद्ध और जैन धर्म में अहम स्थान है। हम विधेयक में स्वस्तिक चिह्न के धार्मिक, शैक्षणिक और ऐतिहासिक इस्तेमाल पर किसी भी तरह की रोक की मांग नहीं करेंगे।’

बता दें कि, इस विषय में अमेरिका के हिंदू संगठनों ने आवाज उठाया था । सोमवार को सत्ता लिबरल पार्टी के सांसद चंद्र आर्य ने सदन को संबोधित करते हुए कहा था कि, इस बिल को लेकर हिंदू समाज में रोष है। उनका कहना था कि, हिंदुओं में स्वस्तिक का अर्थ पवित्र चिह्न के तौर पर है। इसके अलावा जर्मन हुक्ड क्रॉस अलग है। ऐसे में इसे स्वस्तिक चिह्न कहना गलत होगा।

स्रोत : लाइव हिन्दुस्थान

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