कर्नाटक के रामनगर में राशन कार्ड पर ईसा मसीह और देवी लक्ष्मी के फोटो छापने पर विवाद शुरू हो गया है। मामला डोड्डा अलनहल्ली गांव का है, जो राज्य के कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार का जन्मस्थल है। ये फोटो राशन कार्ड के पिछले पन्ने पर छपे हुए हैं। हिंदू संगठनों ने इसकी निंदा करते हुए जांच की मांग की है ।
रिपोर्ट्स के अनुसार, रामनगर जिले के कनकपुरा तालुका के गांव में राशन कार्ड के पीछे जीसस की फोटो लगी है और उसके नीचे न्यू पुष्पा स्टूडियो डोड्डा अलनहल्ली छपा हुआ है। कनकपुरा तहसीलदार विश्वनाथ ने वायरल फोटो की जांच का आदेश दिया है। तहकीकात शुरू हो गई है। हालांकि पुलिस ने अभी FIR दर्ज नहीं की है।
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— Times Now Navbharat (@TNNavbharat) October 20, 2022
BJP का आरोप – ‘ईसाई धर्म थोपने की कोशिश हो रही’
मामले का खुलासा होने के बाद क्षेत्र में सांप्रदायिकता को बढ़ावा देने के प्रयासों पर बहस शुरू हो गई है। दूसरी ओर हिंदू कार्यकर्ताओं और भाजपा नेताओं ने आरोप लगाया है कि, ईसाई धर्म थोपने की कोशिश की जा रही है। श्री राम सेना ने कहा है कि वह इस मामले को कमिश्नर के सामने रखेगी।
आंध्रप्रदेश में भी हो चुका ऐसा वाकया
आंध्र प्रदेश में भी 2019 में इसी तरह का वाकया सामने आया था। हालांकि तब राज्य सरकार ने कहा था कि एक राशन कार्ड डीलर जो वलदामुरु गांव से टीडीपी मेंबर भी था, उसने साजिशन राशन कार्ड पर जीसस की फोटो छपवाई और इसे इंटरनेट पर वायरल कर दिया था। सरकार ने ये भी दावा किया था कि इससे पहले भी इसी शख्स ने राशन कार्ड पर साईंबाबा की तस्वीर छापी थी और 2017 में भगवान बालाजी की फोटो छपवाई थी।
कर्नाटक की भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए पिछले महीने कांग्रेस ने बेंगलुरु में PayCM पोस्टर्स लगाए थे। इन पोस्टर्स में मुख्यमंत्री बासवराज बोम्मई की तस्वीर के साथ एक QR कोड दिया गया है, जिसे स्कैन करने पर कांग्रेस की बनाई वेबसाइट खुलती है।कांग्रेस ने बताया था कि कैसे भाजपा के राज में कर्नाटक में 40% कमीशन रेट सामान्य हो गया है। पढ़ें पूरी खबर…
स्रोत : भास्कर