कर्नाटक में नई सरकार बनने के बाद कर्नाटक सरकार के मंत्री रोजाना नये बयान दे रहे हैं। चाहे बजरंग दल पर प्रतिबंध की बात हो या फिर हिजाब मामला इन सभी मुद्दों पर सकार को मंत्री खुलकर बयान देने से पीछे नहीं हटते। इस बार कर्नाटक के के पशुपालन मंत्री के. वेंकटेश ने गोहत्या को लेकर बयान देते हुए कहा कि, यदि भैंस और बैल काटे जा सकते हैं तो गाय का वध क्यों नहीं किया जा सकता।
पशुपालन मंत्री के. वेंकटेश मैसुरु में पत्रकारों से मुखातिब होते हुए कहा कि पशुवध रोकथाम और पशु संरक्षण अधिनियम को वापस लेने को लेकर के विचार विमर्श कर रही है उसके बाद इस अधिनियम पर उचित कार्रवाई की जाएगी।
‘जब भैंसों का वध किया जा सकता है तो गायों का क्यों नहीं? सरकार इसपर चर्चा करेगी और फैसला लेगी’
गोहत्या रोधी कानून पर कर्नाटक के पशुपालन मंत्री के. वेंकटेश का बयान#Karnataka | #Siddaramaiah | #KVenkatesh pic.twitter.com/HUCnsgIR6o
— News24 (@news24tvchannel) June 4, 2023
मंत्री वेंकटेश ने कहा कि निर्णय लिया जाएगा अगर जो किसानों की मदद करने वाला हो और मंत्री ने एक उदाहरण देते हुए कहा कि मैं अपने आवास पर तीन चार गायों का पालन पोशन करता हुं और उनमें से एक गाय मर गई जिसे अंतिम संस्कार करने में काफी मसक्कत करनी पड़ी 25 लोगों ने भी शव को उठाने में कामयाब नहीं हुआ और बाद में एक JCB लाकर शव को उठाया गया।
राज्य में धन की कमी- मंत्री
मंत्री वेंकटेश स्पष्ट करते हुए कहा कि राज्य में धन की कमी है जिसके कारण गोशालाओं के प्रबंध करने में कमी होगी। इस बयान को लेकर के हिंदू कार्यकर्ताओं में काफी गुस्सा है और मंत्री द्वरा की गई इस टिप्पणी की निंदा की और गोहत्या पर कानून वापस लेने पर परिणाम भुगतने की चेतावनी भी दे दी।
क्या है कानून
भारतीय जनता पार्टी ने 2021 में एक कानून बनाया था। कर्नाटक मवेशी वध रोकथाम व संरक्षण अधिनियम को 2021 को तत्कालीन सरकार ने लागू किया था। इस कानून के तहत ये अधिनियम मवेशियों के वध पर प्रतिबंध लगाता है और इस कानून के तहत बाीमार भैंस, 13 साल से ज्यादा उम्र के भैंसों को वध करने की अनुमति देता है। उस समय विपक्ष में रही कांग्रेस की सरकार ने इसका विरोध किया था।
स्रोत: zee news