हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज ने नूँह हिंसा को लेकर कहा है कि सब कुछ प्लानिंग के साथ हुआ है। बहुत बड़ा गेम प्लान है। इसकी जाँच की जा रही है। आरोपितों के इलाज के लिए बुलडोजर भी एक दवाई है। वहीं, आरोपितों के खिलाफ हो रही कार्रवाई से विश्व हिंदू परिषद संतुष्ट नजर नहीं आ रहा। विहिप का कहना है कि जिहादियों पर ऐसी कार्रवाई हो कि इनकी 10 पुश्तें भी यह याद रखें कि हिंदू तीर्थयात्रियों पर हमला नहीं करना है।
उधर हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज ने आज तक से हुई बातचीत में कहा है, “हिंसा के लिए जिस ढंग की प्लानिंग की गई। जिस प्रकार से मोर्चेबंदी की गई। मंदिर के ऊपर पहाड़ है। पहाड़ पर मोर्चे बनाए गए। एंट्री प्वाइंट्स पर मोर्चे बनाए गए। ये बिना योजना के थोड़े होता है। यह अचानक थोड़े होता है। हर आदमी के हाथ में लाठी थी। लाठियाँ फ्री बँट रहीं थी? किसी न किसी ने व्यवस्था की है लाठियों की। गोली चली है। कोई न कोई हथियार लेकर आया है। ये सारा प्लानिंग के साथ हुआ है। ये बहुत बड़ा गेम प्लान है। हम इसकी पूरी गहराई तक जा रहे हैं।”
विज ने आगे कहा है,”नूँह में हमारी पुलिस इस सिद्धांत पर काम कर रही है कि एक भी निर्दोष को सजा न मिले और एक भी दोषी नहीं छूटे। प्री-प्लान करके गोलियाँ चलाई गईं। पहाड़ों पर चढ़कर गोलिययाँ मारी गईं। छतों पर पत्थर इकट्ठे किए गए। हम एक-एक की जानकारी ले रहे हैं। उन सबके खिलाफ कार्रवाई करेंगे गिरफ्तारियाँ अभी और भी होंगी। जिसके ऊपर केस बनता है उसका इलाज करेंगे। इलाज में बुलडोजर भी एक दवाई है। वो भी जहाँ जरूरी होगा हम चलाएँगे। गिरफ्तार किए गए लोगों से जानकारी मिल रही है। सीसीटीवी फुटेज खँगाले जा रहे हैं।”
विश्व हिंदू परिषद के महासचिव सुरेंद्र जैन ने ईटीवी से हुई बातचीत में कहा है, “अपराधी को सजा मिलनी चाहिए। पूरे मेवात में आतंक का माहौल है, इसलिए उसे मिनी पाकिस्तान कहते हैं। इन हमलवारों ने भारत में रहते हुए पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाए हैं। ये भारत में रहते हैं, भारत का खाते हैं, हिंदू व्यापार देता है तो व्यापार करते हैं। उन्हीं हिंदुओं को मारोगे? उन्हीं हिंदुस्तान को गाली दोगे? पुलिस पर हमला करेगा। एक्शन की शुरुआत हुई है, आगे और अधिक होना चाहिए। जिहादियों पर जो कार्रवाई हो रही वह नाकाफी है। पूरी जिहादी मानसिकता को कुचल देना चाहिए। उन्हें यह समझ आ जाना चाहिए कि भारत में रहकर पाकिस्तान जिंदाबाद नहीं कहा जा सकता। हिंदुओं की हत्याएँ नहीं की जा सकतीं।”
उन्होंने आगे कहा है, “हत्यारों के साथ जो व्यवहार होता है, वैसा ही इनके साथ भी हो। आने वाली 10 पुश्तें भी याद रखें और हिंदू तीर्थयात्रियों पर हमला न करें।” 31 जुलाई के दिन हुए हमले को याद करते हुए सुरेंद्र जैन ने कहा है, “चारों तरफ से रास्ते बंद थे। न तो पुलिस अंदर आ सकती थी और न ही अंदर फँसे लोग बाहर जा सकते थे। पहाड़ों पर चढ़े हुए जिहादियों ने ऊपर से गोलियाँ बरसानी शुरू की थी। कारगिल जैसा दृश्य बन गया था। फर्क बस इतना था। भारतीय सेना के पास हथियार थे। लेकिन हम (हिंदू) निहत्थे थे। ओवैसी, मदनी वर्क जैसे नेताओं को यह समझना चाहिए कि वे मुस्लिमों को किस ओर ले जा रहे हैं। ये अंधेरी गलियाँ हैं विनाश पर समाप्त होंगी।”
बता दें कि नूहं हिंसा के आरोपितों के खिलाफ सरकार लगातार कार्रवाई कर रही है। इस मामले में अब तक 600 से अधिक अवैध निर्माण पर बुलडोजर चलाया गया। वहीं, पूरे हरियाणा में करीब 104 एफआईआर दर्ज की गई हैं। वहीं, इस मामले में करीब 216 गिरफ्तारियाँ हुई हैं और 83 लोगों को हिरासत में लिया है।
स्रोत : ऑप इंडिया