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भविष्य में भारत हिन्दू धर्म के बिना होगा : आइआइटी प्रोफेसर दिव्या द्विवेदी

जी-२० परिषद के बीच कही हिन्दू धर्म को खत्म करने की बात

भारत जहां 9 और 10 सितंबर, 2023 को राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में आयोजित होने वाले प्रतिष्ठित G-20 शिखर सम्मेलन में विश्व के नेताओं और गणमान्य व्यक्तियों का स्वागत कर रहा है वहीं ‍वामपंथी-लिबरल ब्रिगेड इस अवसर का भी लाभ उठाकर अपने हिंदू विरोधी और पूर्वाग्रह से ग्रसित सोच को आगे बढ़ाने में लगा है। आईआईटी दिल्ली की प्रोफेसर दिव्या द्विवेदी और कविता कृष्णन इसी गुट की ऐसी महिलाएं हैं, जो PM मोदी और हिंदुओं के प्रति अपनी नफरत को छिपा नहीं सकीं और हिंदू धर्म और भारत के खिलाफ जहर उगलने के लिए जी-20 के मंच का भी बड़ी बेशर्मी से उपयोग करने लगीं।

फ्रांसीसी मीडिया आउटलेट फ्रांस-24 से बात करते हुए प्रोफेसर दिव्या द्विवेदी, जो द कारवां, वायर और स्क्रॉल जैसे कई वामपंथी मीडिया पोर्टलों से जुड़ी एक स्तंभकार भी हैं, ने कहा कि वह हिंदू धर्म के बिना भारत के भविष्य को देखती हैं। दिव्या द्विवेदी ने विदेशी मीडिया के सामने आर्यन थ्योरी की बात करते हुए भारत से हिन्दू धर्म को मिटाने की वकालत की।

दिव्या ने कहा, “दो भारत हैं। बहुसंख्यक आबादी पर अत्याचार करने वाले नस्लीय जाति व्यवस्था का अतीत का भारत और फिर भविष्य का भारत है, जो जाति उत्पीड़न और हिंदू धर्म के बिना एक समतावादी भारत है। यह वह भारत है जिसका अभी तक प्रतिनिधित्व नहीं आया है, लेकिन वह प्रतिक्षा कर रहा है, दुनिया को अपना चेहरा दिखाने के लिए तरस रहा है।”

इस बिंदु पर, फ्रांस 24 के पत्रकार ने उनसे सवाल करते हुए भारतीय रिक्शा चालक की कहानी बताते हुए उनसे उनकी राय पूछी कि भारत द्वारा किए गए डिजिटलीकरण और वैश्वीकरण जैसे उपायों से देश के नागरिकों को कैसे लाभ हो रहा है। उन्होंने दिव्या द्विवेदी को बताया कि कैसे रिक्शा चालक ने उन्हें समझाया कि प्रधानमंत्री मोदी की डिजिटल इंडिया पहल ने उन्हें न केवल अपने ग्राहकों, अपितु संपूर्ण विश्व से जुड़ने और अपना व्यवसाय बढ़ाने में मदद की।

उन्होंने आईआईटी प्रोफेसर से पूछा की कि क्या रिक्शा चालक का व्यक्तिगत अनुभव यह सुनिश्चित करने के लिए पर्याप्त है कि भारत का भविष्य उज्जवल है। हालांकि, मोदी के प्रति गहरी घृणा से भरी प्रोफेसर ने फ्रांसीसी पत्रकार की बात को खारिज कर दिया, और ऐसी कहानियों को मीडिया द्वारा गढ़ी कहानी कह कर ख़ारिज कर दिया।

स्रोत : ऑप इंडिया

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