मध्य प्रदेश की मोहन सरकार द्वारा जिस प्रकार से लगातार ही हिंदू वादी संस्कृति को निर्मित करने और असामाजिक गतिविधियों को बंद करने के उद्देश्य से कार्रवाइयां की जा रही हैं। उसी क्रम में दमोह में भी प्रशासन द्वारा सोमवार की सुबह शहर की कसाई मंडी में एक्शन मोड दिखाते हुए अवैध रूप से किए गए निर्माण कार्यों को तोड़ा गया।
उल्लेखनीय है कि अभी हाल ही में यहां पर जानवरों की जप्त की गई हड्डियों के बाद पुलिस एवं जिला प्रशासन कार्रवाई के लिए सक्रिय हुआ था, जिसके उपरांत लगातार ही यहां पर पुलिस द्वारा प्रतिदिन कार्रवाई की जा रही थी और गोवंश के मामले में जुड़े हुए लोगों के विरुद्ध लगातार ही कार्रवाइयां की जा रही थी। इसी क्रम में यहां पर कसाई मंडी में कुछ लोगों द्वारा गोवंश वध के लिए बनाए गए अवैध मकानों को तोड़ा गया।
सोमवार की सुबह ६:०० बजे प्रारंभ किए गए इस अभियान में जहां अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संदीप मिश्रा, एसडीएम आर एल बागरी, नगर पुलिस अधीक्षक अभिषेक तिवारी सहित पुलिस एवं राजस्व विभाग के अधिकारी सहित नगर पालिका के प्रभारी सीएमओ मेघ तिवारी की टीम ने सक्रियता के साथ कार्रवाई करते हुए तोड़फोड़ की एवं निर्माणधीन अतिक्रमण को हटाया गया।
After relentless Hindu pressure, Damoh administration bulldozed illegal cow slaughter houses.
Damoh Municipal Admin has helped massive fraud by building slaughter houses with funds from @narendramodi PM Awas Yojana houses which are actually being used to produce beef killing… pic.twitter.com/1oppfBFT6t— Legal Rights Observatory- LRO (@LegalLro) January 15, 2024
पुलिस ने निकाला पैदल मार्च
इसके उपरांत पुलिस ने कसाई मंडी क्षेत्र में पैदल मार्च निकालते हुए लोगों को चेतावनी दी कि यदि इस प्रकार की अनैतिक गतिविधियां संचालित की जाएगी तो ऐसे तत्वों के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। इस शांतिपूर्ण मार्च में अनेक अधिकारियों के साथ-साथ काफी मात्रा में पुलिस बल मौजूद रहा।
वीडियो को बताया था गलत
शहर की कसाई मंडी में होने वाले गोवंश वध के वीडियो के सामने आने के बाद जब हिंदूवादी संगठनों ने इस बात का विरोध प्रदर्शन करते हुए ज्ञापन सौंपा था तो दमोह के पुलिस अधिकारियों ने भोपाल में शासन स्तर पर इस वीडियो को दमोह का ना बताते हुए कहीं और का बताया था तथा प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों को इस बात की जानकारी दी थी कि दमोह में किसी भी प्रकार का गोवंश का वध नहीं किया जा रहा है।
अपनी ही गलत जानकारी को किया पुख्ता
यहां पर सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि पुलिस प्रशासन के अधिकारियों ने भोपाल के अधिकारियों को जिले के वीडियो को गलत बताया था। उसी के बाद जिस प्रकार से ताबड़तोड़ कसाई मंडी में कार्रवाई करते हुए स्लाटर हाउस को तोड़ा था व हड्डियों को जप्त किया था।
पुलिस ने कुछ लोगों के विरुद्ध कार्रवाई की तो इससे यह बात प्रमाणित हो गई कि यहां पर गोवंश का वध लगातार ही किया जा रहा है। वहीं, जिस वीडियो को पुलिस अधिकारियों ने नकारा था उन्हीं की इस प्रकार की कार्रवाई ने उस वीडियो और घटनाक्रम की पुष्टि कर दी।
यही कारण रहा कि कोतवाली के तत्कालीन टीआई को कोतवाली से हटाकर देहात थाना का प्रभारी बना दिया गया। पुलिस सूत्रों ने खुलासा किया है कि प्रदेश में गोवंश पर प्रतिबंध होने के बावजूद कई क्षेत्रों और ग्रामीण इलाकों में उनका वध किया जा रहा है।
स्त्रोत : जागरण