श्रावण अमावस्या , कलियुग वर्ष ५११५
मंदिर सुरक्षाके नामपर हिंदुओंपर प्रशासनका वैधानिक दबाव !
देशको पूरे विश्वमें सर्वाधिक काल नागरिकोंको आतंकवादकी छायामें रखनेवाला देश बनानेवाले राजनेताओंको सत्तासे हटाकर हिंदू राष्ट्रकी स्थापना करें !
कोल्हापुर – आतंकवादी कार्रवाईके भयसे शासनने श्री महालक्ष्मी मंदिरकी सुरक्षाव्यवस्था अधिक कडी करनेका निर्णय लिया है । मंदिरके दो द्वार बंद करना, धातुशोधक (मेटल डिटेक्टर)यंत्रसे बलपूर्वक प्रवेश करना, जनपद प्रशासनको, इन मुद्दोंपर कार्यवाही करनेकी सूचना २ अगस्तको मुंबईमें मुख्य सचिव तथा पुलिस महासंचालककी उपस्थितिमें आयोजित बैठकमें, दी गई । ( यदि इसी प्रकारकी सूचना किसी मस्जिदके संदर्भमें प्राप्त होती, तो क्या पुलिसने द्वार बंद किए होते ? आतंकवाद समाप्त करनेमें अकार्यक्षम सिद्ध तथा वैचारिक दृष्टिसे मुसलमान बने राजनेता अल्पसंख्यकोंकी चापलूसी करते हैं; किंतु केवल हिंदुओंपर उनकी इच्छाके विरुद्ध बंधन डालते हैं ! इस स्थितिमें परिवर्तन लाने हेतु हिंदू राष्ट्रकी स्थापना अनिवार्य है! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात ) केंद्रीय सुरक्षा तंत्रद्वारा मंदिरकी सुरक्षाव्यवस्था अधिक कडी करनेकी सूचना दिए जानेके कारण यह बैठक आयोजित की गई । इस बैठकके लिए जनपद अधिकारी श्री. राजाराम माने, पुलिस अधीक्षक विजयसिंह जाधव तथा राज्य गुप्तचर विभागके अधिकारी उपस्थित थे ।
बैठकमें ये निर्णय लिए गए ..
१. मंदिरमें प्रवेशके लिए एक ही मार्ग रखें । वहांका प्रत्येक कृत्य सुरक्षा व्यवस्थाकी आंखोंके सामने हो ।
२. ओर्वयांवरील दुकान हटाएं ।
३. प्रसादकेंद्रोंमें इंधनका उपयोग किया जाता है, अतः यह प्रक्रिया त्वरित बंद करें । ( हिंदुओंके प्रसादकेंद्रोंपर बंदी डालनेके लिए यह भारत है या पाक ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात )
४. मंदिरको भ्रमणभाष प्रतिबंधक क्षेत्र बनाएं ।
५. द्वार बंद रखनेसे विवाद न हो, इसलिए महापालिका तथा जनप्रतिनिधियोंकी बैठक आयोजित करें ।
स्त्रोत – दैनिक सनातन प्रभात