कार्तिक कृष्णपक्ष १, कलियुग वर्ष ५११५
औरंगाबाद : बिहार के औरंगाबाद जिले के खुदवां थाना स्थित पिसाय गांव के पास बृहस्पतिवार शाम नक्सलियों ने सड़क पर बारुदी सुरंग द्वारा विस्फोट कर सात लोगों की हत्या कर दी। वारदात के बाद दहशत फैलाने के लिए हथियारबंद नक्सलियों ने फायरिंग भी की। इस दौरान करीब दो दर्जन नक्सली 'माओवाद जिंदाबाद' के नारे लगा रहे थे। पुलिस की देरी से ग्रामीणों आक्रोश है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये सहायता की घोषणा की है।
दाउद नगर के उप प्रभागीय पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) मुहम्मद अनवर जावेद अंसारी ने बताया कि विस्फोट में पिसाय गांव निवासी जिला पार्षद सुधा देवी के पति सुशील पांडेय सहित सात लोगों की मौत हो गई। सभी ओबरा से वाहन में सवार होकर अपने घर लौट रहे थे। ग्रामीणों के अनुसार नक्सलियों ने तीन विस्फोट किए थे। इसके बाद गांव का रुख कर ताबड़तोड़ फायरिंग भी की। सरपंच वीरेंद्र पांडेय ने बताया कि वारदात की सूचना देने के बाद भी पुलिस दो घंटे तक नहीं पहुंची। बाद में आक्रोशित ग्रामीणों पुलिस का घेराव किया। बचाव के लिए पुलिस ने हवाई फायर भी किए। ग्रामीणों का कहना है कि पुलिस समय पर पहुंचती तो नक्सली पकड़े जाते। एसडीपीओ ने बताया कि विस्फोट इतना जबरदस्त था कि शव पहचानना भी मुश्किल हो रहा है।
आइजी अभियान अमित कुमार ने बताया कि पुलिस औरंगाबाद में सघन अभियान चला रही है। क्षेत्र में अतिरिक्त पुलिस बल के साथ एसटीएफ जवानों को भी भेजा गया है। गोह विधायक डॉ. रणविजय सिंह ने बताया कि जिला परिषद सदस्य के पति सुशील पांडेय नक्सलियों की हिटलिस्ट में थे। चार दिन पहले भी क्षेत्र में नक्सली गतिविधियों की सूचना थी, जिससे पुलिस को अवगत कराया गया था।
स्त्रोत : जागरण