जादूटोनाविरोधी अधिनियमके विषयमें वारकरियोंको कुछ आपत्ति हो, तो दूर करेंगे ! – अजित पवार

कार्तिक कृष्ण ६, कलियुग वर्ष ५११५

वारकरियोंको महत्व न देकर कांग्रेस प्रशासनद्वारा एक और झूठी जानकारी !

  • सारे वारकरियोंको विश्वासमें लिए बिना विठ्ठल पाटिलने जादूटानाविरोधी अधिनियमके विषयमें आपत्ति न होनेका वक्तव्य दिया

  • प्रमुख वारकरी संगठन तथा वारकरी महाराज द्वारा जादूटोनाविरोधी अधिनियमका निरंतर विरोध

  • गोहत्या बंदी अधिनियम कार्यान्वित करनेके सूत्रकी ओर दुर्लक्ष

उपमुख्यमंत्री अजीत पवार

उपमुख्यमंत्री अजीत पवार

मुंबई : शारीरिक पीडा देनेवाली अनिष्ट प्रथा बंद करने हेतु जादूटोनाविरोधी अधिनियम पारित किया गया है । उसमें वारकरियोंके विरुद्ध कुछ नहीं है । वारकरियोंको कुछ कष्ट नहीं होगा, कुछ विशेष लोगोंको ही इसका विरोध है । आनेवाले छह महमें हमें यह अधिनियम विधिमंडलमें पारित करना है । अत: वारकरियोंको अधिनियमके विषयमें कुछ आपत्ति हो, तो वे मुझसे, अथवा गृहमंत्री रा.रा. पाटिल अथवा सामाजिक न्यायमंत्री शिवाजीराव मोघेसे संपर्क करें । हम वे आपत्ति दूर करने हेतु तैयार हैं । इस हेतु दीपावली उपरांत वारकरियोंकी एक बैठक भी आयोजित की जाएगी,  उपमुख्यमंत्री अजित पवारने २३ अक्तूबरको ऐसा आश्वासन दिया । ( इससे पूर्व कई बार वारकरियों द्वारा अधिनियमके विषयमें चिंतनपूर्ण आपत्ति प्रविष्ट की गई है, उनपर विचार करना तो दूर; प्रशासनने वारकरियोंको लिखित कुछ भी नहीं दिया है । सर्वप्रथम प्रशासन उस विषयमें स्पष्टीकरण दे ! हाल ही में १२ लाख वारकरियोंने आषाढवारी रोकी थी, उस समय वारकरियोंके साथ अधिनियमकी चर्चा न कर केवल नास्तिक श्याम मानवके साथ चर्चा की जाती है तथा मानव द्वारा बताए गए सुधारोंका अधिनियम धार्मिक जनता एवं वारकरियोंके सिरपर मढ दिया जाता है, तो वारकरी इस नए आवाहनका कैसे विश्वास करें ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात )

गोहत्या बंदी अधिनियम कार्यान्वित करनेके विषयमें चर्चा नहीं !

राज्यमें गोहत्या बंदी अधिनियम कार्यान्वित करनेके विषयमें वारकरी संप्रदायके ह.भ.प. बंडातात्या कराडकरने उपमुख्यमंत्रीको कार्तिक एकादशीके दिन पूजा करनेसे मना करनेकी चेतावनी दी थी । सारे वारकरियोंने भी वारीके समय १०० प्रतिशत गोहत्या बंदी होनी चाहिए, ऐसी भूमिका अपनायी थी; किंतु बैठकमें उपस्थित वारकरियोंमेंसे एकने भी  इस विषयमें उपमुख्यमंत्रीसे उत्तर नहीं मांगा ।
इस अवसरपर एक वारकरीने नाम न बतानेकी शर्र्तपर कहा कि विठ्ठल पाटिलने अनेक वारकरियोंको पंढरपुर तथा अन्य स्थानोंसे गाडियोंमें भर-भरकर उपमुख्यमंत्रीसे भेंट करने मुंबई लाया है । उनके लिए भोजन तथा अन्य सुविधाएं भी उपलब्ध करायी गयी हैं । वारकरियोंकी वारीके विषयमे समस्याओंका हल ढूंढा जाएगा, ऐसा बताया गया था । उसमें जादूटोनाविरोधी अधिनियमपर चर्चा करनेके विषयमें कुछ भी निश्चित नहीं हुआ था । अपितु बैठकमें मनमानी कर अधिनियमके विषयमें चर्चा की गई ।

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात
 

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