फाल्गुन कृष्णपक्ष षष्ठी, कलियुग वर्ष ५११६
धुळे में राष्ट्रीय हिन्दू आंदोलन का आयोजन
धुळे (महाराष्ट्र) : ७ फरवरी को यहां संपन्न राष्ट्रीय हिन्दू आंदोलन में विश्व हिन्दू परिषद के डॉ. सचिन चिंगरे ने वक्तव्य दिया। उस समय उन्होंने यह प्रतिपादित किया कि कांग्रेस शासन द्वारा ४ वर्ष छुपाकर रखे २०११ के जनगणना ब्यौरे के अनुसार यह ध्यान में आता है कि मुसलमान अल्पसंख्यक नहीं हैं। उन्हें तथा हिन्दुओंको पृथक-पृथक अधिनियम, ऐसी स्थिति कितने दिन तक हम सहन करेंगे ? अब त्वरित समान नागरी अधिनियम पारित करना चाहिए।
भूतपूर्व संघकार्यवाहक श्री. पुरुषोत्तम (नानाभाऊ) जोशी ने बताया कि ‘‘वैलेंटाईन डे के कारण लव जिहाद में वृद्धि होती है। भंगार (कूडा-करकट) बेचनेवाले नागपुर के एक धर्मांध ने हिन्दू युवती का अपहरण किया। ये सभी बातें बंद होनी चाहिए।’’
योग वेदांत समिति की श्रीमती पूनम मलकर ने बताया कि ‘‘वैलेंटाईन डे’ के कारण युवा पीढी का अधःपतन हो रहा है। युवाओंको अपने माता-पिता तथामातृभाषा पर प्रेम व्यक्त करना चाहिए।’’ उस समय हिन्दू जनजागृति समिति के श्री. पंकज बागुल ने भी अपने विचार व्यक्त किए।
आंदोलन में सम्मिलित मान्यवर
बजरंग दल के श्री. नितीन महाले, योग वेदांत सेवा समिति के डॉ. योगेश पाटिल, श्री. सुशील मलकर, स्वदेशी जागरण मंच के श्री. विलास राजपूत, भूतपूर्व संघकार्यवाहक श्री. नानाभाऊ जोशी, सार्वजनिक गणेश मंडल, राऊळवाडी के सर्वश्री सागर मोरे, महेश भोपे, सोनु हरळ, भुटी भवरे, सचिन भवरे, पवन कायस्थ, सनातन संस्था के सर्वश्री चेतन जगताप, भगवान चव्हाण तथा डॉ. जितेंद्र पाटकर एवं हिन्दू जनजागृति समिति के सर्वश्री विजय उग्रेज इत्यादि।
क्षणिकाए
१. आंदोलन समाप्ति के पश्चात वहां के एक परिवहन पुलिस ने बताया कि‘हम भी आप के साथ हैं । हमें आप का अभिमान है।’
२. योग वेदांत सेवा समिति द्वारा ध्वनिवर्धक प्रबंध किया गया था। पूज्यपाद संतश्री आसारामजी बापू के भक्त ‘१४ फरवरी को वैलेंटाईन डे नहीं, अपितु मातृ- पितृ दिवस मनाएं’, हाथ में ऐसा लिखित फलक पकडकर सम्मिलित हुए थे।
३. आंदोलन के पश्चात उपजनपदाधिकारी श्रीमती शुभांगी भारदे को निवेदन प्रस्तुत किया गया।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात