नई दिल्ली : हरियाणा के हिसार में चर्च पर हुए हमले का जोरदार तरीके से बचाव करते हुए विश्व हिंदू परिषद ने कहा है कि क्या ईसाई हमें वेटिकन सिटी में हनुमान मंदिर बनाने देंगे। जैन ने संकेत किया कि ऐसे हमले आगे भी होते रहेंगे। उन्होंने कहा, ‘लोग आक्रामक धर्मांतरण के खिलाफ प्रतिक्रिया वैसे ही देंगे जैसे २००८ में ओडिशा में स्वामी लक्ष्मणानंद की हत्या के खिलाफ दी थी।’
परिषद के संयुक्त महासचिव सुरेंद्र जैन ने १८५७ की लड़ाई को धर्मयुद्ध बताते हुए कहा कि अगर ईसाइयों ने धर्मांतरण बंद नहीं किया तो वैसी ही लड़ाइयां छेड़ी जाएंगी। जैन ने कहा कि पश्चिम बंगाल में बुजुर्ग नन के साथ हुए गैंग रेप को सांप्रदायिक रंग देना चर्च की साजिश है और ननों का शारीरिक शोषण चर्च की संस्कृति है, हिंदुओं की नहीं। उन्होंने कहा, ‘पोप ननों के रेप को लेकर इतने चिंतित हैं कि वह इसे रोकने के लिए समलैंगिकता को बढ़ावा दे रहे हैं।’
हिसार और नादिया दोनों ही जगहों पर ईसाई हिंदू कट्टरपंथियों के निशाने पर रहे हैं लेकिन विश्व हिंदू परिषद ने कहा है कि दोनों घटनाओं में उसका हाथ नहीं है।
हिसार की घटना पर जैन ने कहा, ‘यह स्थानीय लोगों की तात्कालिक प्रतिक्रिया है। जिस गांव में चर्च पर हमला हुआ है उसमें या उसके आसपास कोई ईसाई नहीं रहता। तब वहां चर्च क्यों बनाई जा रही थी? क्या ईसाई लोग वेटिकन में हमें हनुमान मंदिर बनाने देंगे ? वे हमें वेटिकन में मंदिर बनाने दें तो हमें उनसे कहेंगे कि चर्च के लिए भारत में कोई जगह चुन लें, पैसा भी हम देंगे।’
जैन ने आरोप लगाया कि चर्च धर्मांतरण के मकसद से बनाया जा रहा था और स्थानीय लोगों ने इसके खिलाफ चेतावनी दी थी, जिसे सुना नहीं गया।
स्त्रोत : नवभारत टाइम्स