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नया संशोधन करने हेतु रामायण तथा महाभारतद्वारा प्रेरणा प्राप्त होती है ! – सैमसंगके संशोधन विभागप

पौष शुक्ल पक्ष ८, कलियुग वर्ष ५११५

तथाकथित बुदि्धप्रामाण्यवादियोंको फटकार ! 

मुंबई – वर्तमानमें तंत्रज्ञान अनेक नए-नए खोज कर रहा है । मुझे भी कोई कल्पना सूझी, सपना आया तो मैं उसे वास्तविकतामें उतारनेका प्रयास करता हूं । इस हेतु मुझे विज्ञानके सूत्रों अथवा हॉलीवूडके चलचित्रोंद्वारा नहीं, अपितु रामायण तथा महाभारतसे प्रेरणा प्राप्त होती है, सैमसंग आस्थापन संशोधन विभागके प्रमुख प्रणव मिस्त्रीने ऐसा प्रतिपादन किया । उन्होंने कहा कि रामायण तथा महाभारतमें इतनी अद्भुत ​ बातोंका निर्देश किया गया है, जिसके कारण मैं ‘सिक्स्थसेन्स’ की दिशामें संशोधन कर सका । आइ.आइ.टी. मुंबईकी ओरसे आयोजित ‘टेकफेस्ट’ के अंतर्गत एक विषयपर बोलते हुए मिस्त्रीने वर्तमान तथा भविष्यमें आनेवाले तंत्रज्ञानके विषयमें जानकारी दी ।

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात

 

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