जम्मू : आरएसएस के बयान के बाद अलगाववादियोंने भी अपना बयान जारी कर दिया है। ‘कश्मीर में पाक के नारे लगाने वालोंको पाकिस्तान भेज देना चाहिए’..संघ के इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए अलगाववादियोंने कहा है कि हमे पाकिस्तान निर्वासित कर दो, हम पाकिस्तान रहना चाहते हैं। इस्लाम संरक्षक मोहम्मद अइाजम इंकलाबी ने कहा कि संघ को ध्यान में रखना चाहिए कि यह १९४७ नहीं है बल्कि २०१५ है।
उन्होंने कहा कि हमे पाकिस्तान निर्वासित किया जाए, हम वहां रहना पसंद करेंगे। अलगाववादी नेता ने संघ पर आरोप लगाया कि १९४७ में जातीय सफाई के लिए सीधे तौर पर आरएसएस जिम्मेदार था। कश्मीर के लोग कभी नहीं भूलेंगे कि किस तरह से जम्मू कश्मीर के पांच लाख मुस्लमानोंकी हत्या कर दी गई थी। जम्मू कश्मीर में सरकार शांतिपूर्ण तरीके से अपनी बात रखने वाले कश्मीरी लोगोंकी आवाज को दबा रही है।
इंकलाबी ने संघ के बयान को गैरजिम्मेदाराना करार दिया है। उन्होंने कहा कि मसरत आलम शांतिपूर्ण तरीके से रैली कर रहा था। उसे आम बात के लिए गिरफ्तार किया गया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तानद्वारा शासित कश्मीर भी हमारा है, इसलिए हम पर हुक्म चलाने वाले संघ के नेता कौन होते हैं।
स्त्रोत : पंजाब केसरी