हिंदूंओ, भाजपा और काँग्रेस एक ही सिक्के के दो पहलू हैं, उसका प्रतिदिन अनुभव आ रहा है । विदेश में सूर्यनमस्कार किया जाता है । कोई इसका विरोध नहीं करता परंतु भारत में कट्टरतावादी इसका धर्म के आधार पर विरोध करते हैं । क्या इसी को धर्मनिरपेक्षता कहेंगे ? हिंदूंआें मोदी सरकार से अब कोई अपेक्षा न रखते हुए हिंदू राष्ट्र अर्थात रामराज्य के लिए कटिबद्ध हो जाएं ।- सम्पादक, हिन्दू जनजागृति समिति
नर्इ देहली – कांग्रेस के समान भाजपा की मोदी सरकार ने भी धर्मांधोके तुष्टीकरण की नीती अपनानी आरंभ कर दी हैं । यह अब कुछ नया नहीं । इसी के चलते अब २१ जून को होने वाले अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर सूर्य नमस्कार करने की अनिवार्यता मोदी सरकार ने समाप्त कर दी है। अब योग दिवस के दिन सूर्यनमस्कार नहीं करना पड़ेगा। केंद्रीय आयुष मंत्री श्रीपाद नाईक ने कहा है कि सूर्य नमस्कार करना सबके लिए संभव नहीं था।
कहा जा रहा है की मुसलमान संगठनों के विरोध के कारण मोदी सरकार ने यह कदम उठाया है। एमआइएम जैसे कुछ राजनीतिक संगठन और कुछ मुसलमान धर्मगुरुआें ने इसका विरोध किया था । उनका कहना है कि इस्लाम में अल्लाह के अतिरिक्त किसी और के सामने झुकने की अनुमती नहीं है।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात