-
मस्ती एवं पर्यटन का वातावरण
-
सिंहस्थ पर्व में धर्महानि !
नासिक (महाराष्ट्र) : सिंहस्थ पर्व के उपलक्ष्य में पवित्र रामकुंड में स्नान करने हेतु पूरे विश्व से भक्त यहां आ रहे हैं। तो भी वर्तमान में अनेक तथाकथित युवा भक्तोंद्वारा पवित्र रामकुंड का उपयोग कोई एक जलतरण तालाब समान किए जाने का दुर्भाग्यपूर्ण चित्र यहां दिखाई दे रहा है।
ऐसी मस्ती करने की मानसिकतावाले भक्तोंके कारण रामकुंड में स्नान करनेवाले अन्य श्रद्धालुओंको अकारण कष्ट करने पड रहे हैं। विशेषतः प्रशासन इस ओर पूरा दुर्लक्ष कर रहा है।
यहां स्नान करते समय युवक जलतरण तालाब में शोर मचाते हैं। उसके समान सभी युवक ध्वनि मचाकर तैर रहे हैं। इसके अतिरिक्त शोर मचा कर उनके साथ आए अन्य सहयोगियोंद्वारा छायाचित्र निकाल रहे हैं। अनेक लोग पानी में ‘सेल्फी’ (भ्रमणभाष से अपने आप का छायाचित्र निकालना) निकाल रहे हैं। इसके अतिरिक्त एक दूसरे के शरीर पर पानी उडाना, एक-दूसरे पर गेंद फेंक कर उसे पानी में झूलते रखना इत्यादि आपत्तिजनक घटनाएं होती दिखाई दे रही हैं।
प्रशासन की निष्क्रियता के कारण भाग्य से आए सच्चे भक्तों को हताश होकर इन अनुचित घटनाओंको देखने के अतिरिक्त और कोई उपाय नहीं है।
रामकुंड का अनुचित उपयोग करनेवालोंको शासन त्वरित प्रतिबंधित करे ! – सुनील घनवट, संगठक, हिन्दू जनजागृति समिति, महाराष्ट्र राज्य
रामकुंड की पावित्रता को भंग करनेवाली बातें निंदनीय हैं। इस का हम निषेध करते हैं। रामकुंड की पवित्रता को संजोने हेतु शासन को उचित कदम उठाना एवं जलतरण तालाब के रूप में रामकुंड का उपयोग करनेवालोंको प्रतिबंधित करना चाहिए, ऐसी हमारी मांग है।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात