तुलजापुर देवस्थान समिति का भूमि अपहार एवं भ्रष्टाचार प्रकरण
• तुलजापुर देवस्थान समिति की २६५ एकड भूमि का अपहार !
• प्रविष्ट जनहित याचिका पर उच्च न्यायालयद्वारा शासन को अपनी बात प्रस्तुत करने के आदेश
मुंबई : तुलजापुर तहसील में तुलजापुर देवस्थान समिति के स्वामित्व के १५ गावों में ३ सहस्र ५६८ एकड भूमि में अमृतवाडी की २६५ एकड भूमि में अवैधानिक रूप से फेरफार कर उसे ७७ लोगोंके नाम पर नामांतर किया गया।
यह बात तत्कालीन जिलाधिकारी डॉ. प्रवीण गेडामद्वारा की गई जांच में उजागर हुई है !
इस प्रकरण में तत्कालीन मुख्यमंत्री श्री. अशोक चौहानद्वारा जांच करने के आदेश दिए गए थे। इस पर विधि एवं न्याय खाते के संभाजीनगर विभाग के सहसचिव श्री. गिराडकर के साथ कुल ५ लोगोंद्वारा इसकी अगली जांच कर मंत्रालय में विधि एवं न्याय विभाग को उसका ब्यौरा भेजा था। यह ब्यौरा आगे की कार्यवाही हेतु न्याय विभागद्वारा राजस्व विभाग को भेजा गया; परंतु उस पर कोई कार्रवाई किए बिना उसे दबा दिया गया !
अधिग्रहित भूमि पुनः प्राप्त करने हेतु कोई कार्रवाई न कर ब्यौरे को दबा देना गंभीर बात है !
इसलिए हिन्दू जनजागृति समितिद्वारा न्यायालयीन लडाई की जाएगी, हिन्दू विधिज्ञ परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष अधिवक्ता श्री. वीरेंद्र इचलकरंजीकरद्वारा ऐसा प्रतिपादित किया गया। वे मुंबई में आयोजित पत्रकार परिषद में ऐसा बोल रहे थे।
अधिवक्ता श्री. वीरेंद्र इचलकरंजीकर ने आगे कहा कि, वर्ष २०१० से राज्य अन्वेषण शाखाद्वारा आरंभ जांच में पिछले ५ वर्ष में कुछ भी परिणाम नहीं निकला। इसलिए हिन्दू जनजागृति समितिद्वारा हिन्दू विधिज्ञ परिषद के माध्यम से उच्च न्यायालय के संभाजीनगर के खंडपीठ के सामने संबंधित लोगोंपर कार्रवाई की मांग करनेवाली जनहित याचिका प्रविष्ट की गई है।
इस प्रकरण में हिन्दू विधिज्ञ परिषद के संस्थापक सदस्य अधिवक्ता श्री. सुरेश कुलकर्णी एवं सदस्य अधिवक्ता श्री. उमेश भडगावकर न्यायालय में अपने पक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं।
इस प्रकरण में न्यायमूर्ति बोर्डे एवं न्यायमूर्ति चिमा के सामने न्यायालयद्वारा २३ नवंबर को इस याचिका पर विधि, गृह, राजस्व एवं न्याय विभाग के सचिव, धाराशीव के जिलाधिकारी एवं तुलजापुर के तहसीलदार को सुनवाई संबंधि ‘कारण बताओ’ नोटिस दी गई है।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात