मुंबर्इ – राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुडी पत्रिका ‘ऑर्गनाइजर’ में शनिशिंगणापुर मंदिर में महिलाआें के प्रवेश पर प्रतिबन्ध के निर्णय का समर्थन किया है। साथ ही ‘सम्मानजनक वार्ता’ के जरिए इस विवाद को सुलझाने की सलाह भी दी है।
संपादकीय में पूछा गया है कि, ‘तर्कवादी’ ये बताएं कि, क्या वह जबरन उस भगवान की पूजा करना चाहते हैं जिसमें उनका विश्वास नहीं या उन्हें उन लोगों की भावनाओं का सम्मान करना चाहिए जो शनि देव में आस्था रखते हैं। इसमें बाल गंगाधर तिलक के कार्यकाल में तर्कवादी वार्ता का भी उल्लेख किया गया है।
शनि मंदिर में महिलाओं का चबूतरे पर जाना परंपरा के विरूद्ध है। किंतु ४०० महिलाओं ने एकजुट होकर यह परंपरा तोडने की ठान ली है। मंदिर में पूजा करने की जिद पर अडी महिलाओं ने २६ जनवरी को मंदिर में चबूतरे पर पूजा करने की घोषणा की थी । किंतु सैकडो महिलाओं को मंदिर से करीब ८० किलोमीटर दूर ही रोक लिया गया। प्रशासन ने करीब ३५० महिलाओं को हिरासत में भी ले लिया था। हालांकि कुछ देर बाद उन्हें मुक्त कर दिया गया।
स्त्रोत : आज तक