राष्ट्रपुरुषों के नाम भी ठीक से लिखने में अकार्यक्षम विद्यापीठ प्रशासन विद्यार्थियों के समक्ष क्या आदर्श प्रस्थापित करेगा ?
ठाणे : वर्तमान में मुंबई विद्यापीठ में चल रही परीक्षा में कला शाखा की पदवी परीक्षा के राज्यशास्त्र विषय की प्रश्नपत्रिका में महान राष्ट्रपुरुषों के नाम का शॉर्टफॉर्म में उल्लेख कर अपमान किया गया है । इसमें उल्लेखित म.गो., मो.क., भी.रा., रा.म. अर्थात कौन, ऐसा प्रश्न उपस्थित होने से विद्यार्थियों में उलझन उत्पन्न हो गयी है ।
अंग्रेजी एवं मराठी माध्यम के विद्यार्थियों के लिए एक ही प्रश्नपत्रिका है, जिसकी दो भागों में छापार्इ की गर्इ है । प्रथम भाग में अंग्रेजी प्रश्न पूछे गए हैं एवं उनके पीछे की बाजू में सभी प्रश्नों का मराठी में भाषांतर किया गया है ।
क्यूपी कोड १६२२२ क्रमांक की प्रश्नपत्रिका में न्यायमूर्ती महादेव गोविंद रानडे का उल्लेख म.गो. रानडे, ऐसा किया गया है । वास्तव में पूरा नाम लिख कर उनका उल्लेख किया जाता है । ज्येष्ठ समाजवादी दार्शनिक राम मनोहर लोहिया के नाम का उल्लेख पूरा नाम लिख कर करने की प्रथा है । परंतु मुंबई विद्यापीठ की प्रश्नपत्रिका में उनका उल्लेख रा.म. लोहिया किया गया है । अन्य कुछ राष्ट्रपुरुषों के नाम भी इसी स्वरूप में दिए गए हैं । इस विषय में विद्यार्थी परिवाद निवारण समिति के सदस्य एवं भूतपूर्व सिनेट सदस्य महादेव जगताप ने प्रश्नपत्रिकाओं का मराठी भाषांतर करनेवालों पर कठोर कार्यवाही करने की मांग की है ।
संदर्भ : दैनिक सनातन प्रभात