हिन्दुओं, बांग्लादेश में रहनेवाले हिन्दुओं की रक्षा करने हेतु ‘हिन्दु राष्ट्र’ अर्थात ‘सनातन धर्म राज्य’ की स्थापना करना अनिवार्य है ! – संपादक, हिन्दुजागृति
ढाका : बांग्लादेश में अल्पसंख्यक समुदाय पर हो रहे आक्रमणों की कड़ी में शुक्रवार सुबह एक मंदिर में हिंदू पुजारी की जिहादीयोंद्वारा हत्या कर दी गई। मृतक का नाम श्यामनंदो दास था और उनकी उम्र ४५ साल थी। राजधानी ढाका से ३०० किलोमीटर की दूरी पर स्थित झिनाइदा जिले के मुख्यालय में एक मंदिर के सामने सुबह कुल्हाड़ी से काटकर श्यामनंदो की हत्या कर दी गई।
झिनाइदा जिला प्रशासन के प्रमुख महबूबुर रहमान ने बताया, ‘शुक्रवार सुबह वह पूजा के लिए फूल तोड रहे थे। उसी समय बाइक से ३ युवक वहां आए और कुल्हाड़ी से उन्हें काटकर उनकी हत्या कर दी और वहां से भाग गए। इस हत्या का तरीका भी स्थानीय आतंकियों के तरीके जैसा ही था, किंतु हम अभी इस विषयमें विस्तार से कुछ नहीं कह सकते हैं।’
मुस्लिम बहुल बांग्लादेश में पिछले कुछ महीनों से इस्लामिक कट्टरपंथियोंद्वारा उदारवादी कार्यकर्ताओं, धर्मनिररपेक्ष ब्लॉगर्स और हिन्दुआेंकी हत्या हो रही है।
हाल में हुई इस तरह की कुछ हत्याओं की जिम्मेदारी आइएस ने ली है, किंतु सरकार बांग्लादेश में आइएस की मौजूदगी से इनकार करती आई है। सरकार का कहना है कि, इन हत्याओं के पीछे बांग्लादेशी कट्टरपंथियों का हाथ है !
बांग्लादेश में प्रसारित होगा मन की बात
प्रधानमंत्री मोदी ने बांगलादेश में हिन्दुआेंकी हो रही हत्याआेंपर बात करनी चाहिए, एेसी हिन्दुआेंकी अपेक्षा आहे !- सम्पादक, हिन्दूजागृति
कोलकाता : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मन की बात कार्यक्रम को बांग्लादेश में प्रसारित करने की तैयारी की जा रही है। दरअसल पड़ोसी देश बांग्लादेश के संबंध अच्छे होने के लिए इसे एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। बांग्लादेशी रेडियो चैनल के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का मन की बात कार्यक्रम प्रसारित होगा। दरअसल बांग्ला चैनल आकाशवाणी मैत्री से भारत सरकार और आॅल इंडिया रेडियो ने चर्चा की है। यदि यह चर्चा सार्थक रहती है तो फिर बांग्लादेश में मन की बात कार्यक्रम का प्रसारण हो सकेगा। बांग्लादेश के निवासी पीएम मोदी की मन की बात कार्यक्रम केवल सुन ही नहीं सकेंगे बल्कि वे सवाल भी पूछ सकते हैं। (इस समय बांग्लादेश के हिन्दुआेंपर हो रहे अत्याचारों के विषयमें सहायता करने की मांग प्रधानमंत्री के पास करनी चाहिए – सम्पादक, हिन्दूजागृति)
स्त्रोत : नवभारत टाइम्स