- खुले रुप से गोहत्या करनेवाले कसाई एवं गोतस्करों पर कोई कार्यवाही नहीं की जाती; परंतु गोरक्षा करनेवाले गोरक्षकों को कारागृह में डाला जाता है, क्या यह शासन एवं पुलिस की मुगलाई नहीं ?
- हम गोरक्षा नहीं करेंगे एवं अन्य लोगों को भी नहीं करने देंगे, ऐसी मानसिकतावाला शासन !
- स्वतंत्रता के ६९ वर्ष के उपरांत भी गोरक्षक तथा हिन्दुत्वनिष्ठों पर शासनकर्ताओं की ओर से अत्याचार चालू ही हैं । इसलिए हिन्दुओं को ६९ वर्ष के उपरांत भी उचित शासनकर्ता का चुनाव करना संभव नहीं हुआ ऐसा ही कहना होगा ! इस स्थिति को परिवर्तित करने हेतु ’हिन्दू राष्ट्र’ स्थापित करना अनिवार्य है ! – सम्पादक, दैनिक सनातन प्रभात
पटियाला (पंजाब) : पंजाब गोरक्षक दल के प्रमुख श्री. सतीशकुमार प्रधान को २१ अगस्त को पटियाला पुलिस द्वारा बंदी बनाया गया । (पंजाब में भारी मात्रा में नशिली पदार्थो की तस्करी चल रही है । पंजाब के नागरिक इन तस्करों पर कार्यवाही करने की मांग करते समय निष्क्रिय रहनेवाली भ्रष्ट पंजाब पुलिस गोरक्षकों पर त्वरित कार्यवाही कर रही है । पंजाब में शीघ्र ही होनेवाले चुनाव में हिन्दुओं एवं गोरक्षकों ने मतपेटी के माध्यम से इस का निषेध व्यक्त करना चाहिए ! – सम्पादक, दैनिक सनातन प्रभात) सामाजिक जालस्थल पर प्रकाशित वीडियो में उनके संगठन के सदस्य कुछ गो-तस्करों को पीटाई करते हुए दिखाई देने के कारण उन पर अपहरण एवं लोगों को कष्ट देना ऐसे आरोप लगाए गए हैं ।
कुछ गो-तस्करों द्वारा पुलिस को ऐसा बताया गया कि, श्री. सतीशकुमार प्रधान ने उन्हें कैद कर रखा, लूटा, शारीरिक पीटाई की एवं अनैसर्गिक संभोग किया । इसके अनुसार श्री. सतीशकुमार पर इस संदर्भ में अपराध भी प्रविष्ट किए गए । पुलिस का कहना है कि, श्री. सतीशकुमार पर ८ अगस्त को अपराध प्रविष्ट करने के बाद से वे लापता थे ।
बता दे कि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कुछ दिन पूर्व ८० प्रतिशत गोरक्षक समाजकंटक है, ऐसे कहा था । इसके पश्चात श्री. सतीश कुमार पर अपराध की प्रविष्टि की गई थी ।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात