संभाजीनगर के घारेगांव तथा अंधानेर में गणेशोत्सव के उपलक्ष्य हिन्दू जनजागृति समिति का ‘हिन्दू संगठन मेला’
घारेगांव के मारुति मंदिर में गौरी विसर्जन के दिन गणेशोत्सव के उपलक्ष्य में हिन्दू जनजागृति समिति तथा विघ्नहर्ता गणेश मंडल के संयुक्त तत्त्वावधान में ‘हिन्दू संगठन मेला’ आयोजित किया गया था। उस समय रणरागिणी शाखा की महाराष्ट्र राज्य संगठक कु. प्रतीक्षा कोरगांवकर संबोधित कर रही थीं। अपने संबोधन में उन्होंने प्रतिपादित किया कि, छत्रपति शिवराय के इस महाराष्ट्र ने महिलाओं पर किए जानेवाले अत्याचारों में प्रथम क्रमांक तथा बलात्कारों में द्वितीय क्रमांक प्राप्त किया है !
अपनी स्वयं की रक्षा के लिए हरएक स्त्री को स्वसंरक्षण प्रशिक्षण प्राप्त कर रणरागिणी बनना चाहिए। साथ ही धर्मांधों के लव्ह जिहाद के समान षडयंत्रों का शिकार बनने की अपेक्षा धर्माचरण कर धर्माभिमान भी वृद्धिंगत करना चाहिए। लोकमान्य टिळक ने राष्ट्र एवं धर्म प्रबोधन के उद्देश्य से सामूहिक गणेशोत्सव आरंभ किया। आज उत्सव का स्वरूप दिनोंदिन बिगडता जा रहा है। इस संदर्भ में जागृति करने हेतु ही यह ‘हिन्दू संगठन मेला’ आयोजित किया गया है।
विघ्नहर्ता गणेश मंडल के संस्थापक श्री. किशोर गवाणेद्वारा छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा को पुष्पहार समर्पित करने के पश्चात मेला आरंभ हुआ। इस अवसर पर सनातन के सात्त्विक उत्पादन तथा ग्रंथ प्रदर्शनी का आयोजन किया गया था। साथ ही समिति के राष्ट्र एवं धर्म के विषय पर कार्य की जानकारी प्रदान करनेवाली फ्लेक्स प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया था। उस समय समिति के कार्यकर्ताओं ने स्वसंरक्षण के कुछ प्रात्यक्षिक प्रस्तुत किए। घारेगांव के साथ आडगांव तथा हीरापुर के १७० से भी अधिक धर्माभिमानियों ने उसका लाभ उठाया।
कु. क्रांति पेटकर ने मेले का सूत्रसंचालन किया। गांव के धर्मशिक्षणवर्ग के ५-६ धर्माभिमानियों ने मेले की सिद्धता एवं प्रसार कार्य किया था।
क्षणिकाएं
१. जब मेला आरंभ हुआ, उस समय वहां ५ धर्मांध आए। उन्हें जाने के लिए कहने के पश्चात भी वे जाने के लिए सिद्ध नहीं थे ! अंत में तिलक लगाने के पश्चात ही वे वहां से निकल गए।
२. गौरीविसर्जन का दिन होते हुए भी गांव की महिलाओं की उपस्थिति लक्षणीय थी।
अंधानेर में ‘हिन्दू संगठन मेला’
घारेगांव के अनुसार अंधानेर के संत सावता माळी मंदिर में भी हिन्दू संगठन मेला आयोजित किया गया। उस समय ह.भ.प. आनंद महराज तुपे, ह.भ.प. सुरेंद्र महराज रहाणे, अंधानेर की सरपंच श्रीमती कांताबाई दाबके, मंडल के अध्यक्ष तथा उपाध्यक्ष उपस्थित थे। श्रीमती कांताबाई दाबके ने कु. प्रतीक्षा कोरगांवकर को सम्मानित किया। साथ ही मान्यवरों का भी सम्मान किया गया। इस मेले के लिए ५०० से भी अधिक धर्मप्रेमी उपस्थित थे। ढोल-ताशा की गूंज में शोभायात्रा संपन्न हुई।
क्षणिकाएं
१. गांव में स्वसंरक्षण प्रशिक्षण वर्ग आरंभ करने की मांग की गई। सभी ने कार्यक्रम की प्रशंसा की। मेले में ‘हिन्दू राष्ट्र’ की मांग को उपस्थित धर्मप्रेमियों ने उत्स्फूर्त रूप से घोषणा देकर पुष्टि प्रदर्शित की।
२. मेले के लिए महिलाओं की उपस्थिति लक्षणीय थी। साथ ही मार्गदर्शन के बीच बीच में महिलाएं घोषणा भी दे रही थीं।
३. गांव के पांडे टेंट हाऊस ने ध्वनिक्षेपक यंत्रणा, व्यासपीठ तथा विद्युत प्रबंध निःशुल्क रूप से उपलब्ध किया था।
४. कार्यक्रम के पश्चात सरपंच श्रीमती कांताबाई दाबके ने देवघर की रचना कैसी होनी चाहिए, यह ज्ञात किया तथा उसी प्रकार देवघर की रचना करने की सिद्धता व्यक्त की।
५. मेले के पश्चात गांव में साप्ताहिक सनातन प्रभात के ९ वर्गणीदार हुए।
स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात