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बंगाल में हिन्दुआें के साथ साथ अब मंदिर भी असुरक्षित !
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एेसा होने के लिए क्या बंगाल भारत में है या पाकिस्तान में ? – सम्पादक, हिन्दुजागृति
साम्प्रदायिक दंगों की आग में झुलसे पश्चिम बंगाल के आसनसोल में जिंदगी पटरी पर आ ही रही थी की राज्य में एक बार फिर से तनाव उत्पन्न हो गया है । पश्चिम बंगाल के हावडा में बदमाशों ने एक हिन्दू मंदिर में तोड फोड की । घटना २ अप्रैल सुबह की है । इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ असामाजिक तत्वों ने मंदिर में मौजूद देवी देवताओं की तस्वीरों पर कीचड रगड किया । इन लोगों ने मंदिर की दीवारें भी गंदी कर दी । कुछ चश्मदीदों का कहना है कि उन्होंने कुछ बदमाशों को नाली में भगवा झंडा फेंकते हुए देखा ।
इनका कहना है कि, इन गुंडों ने मंदिर की त्रिशूल भी तोड दी । बता दें कि, पश्चिम बंगाल के हावडा में हिन्दू और मुस्लिम समुदाय के लोग बडी संख्या में रहते हैं । दोनों समुदाय के लोगों ने इस घटना की निंदा की है । यहां के लोगों को संदेह है कि, इस घटना कुछ बाहरी व्यक्तियों द्वारा अंजाम दिया गया हो सकता है, क्योंकि यहां पर सालों से हिन्दू मुस्लिम प्रेम और शांतिपूर्वक रहते आए हैं ।
हालांकि पुलिस के अनुसार यह घटना तब हुई है जब इस क्षेत्र में उर्स मनाया जा रहा था, और कई क्षेत्रों में रातभर कार्यक्रम हुए थे । पुलिस ने लोगों से शांति की अपील की है और मामले की जांच शुरू कर दी है । बता दें कि, रामनवमी पूजा के दौरान पश्चिम बंगाल के आसनसोल और रानीगंज साम्प्रदायिक हिंसा की चपेट में आ गये थे । इन क्षेत्रों में कई दिनों कर्फ्यू लगा रहा । हालात सुधरने के बाद २ अप्रैल को यहां से निषेधाज्ञा हटा ली गयी । एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि क्षेत्र में सुरक्षाबलों का मार्च भी वापस ले लिया गया है । उनकी चौकियां भी घटा दी गयी हैं । हालांकि यहां पर इंटरनेट सेवाएं चार अप्रैल तक निलंबित रहेंगी ।
आसनसोल हिंसा के मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने हिंसा के शिकार लोगों की स्वतंत्रता एवं मर्यादा की रक्षा करने में विफल रहने पर पश्चिम बंगाल सरकार और राज्य के पुलिस प्रमुख को नोटिस भेजा है । वरिष्ठ अधिकारियों के अनुसार स्थिति पर गंभीर चिंता प्रकट करते हुए आयोग ने राज्य के मुख्य सचिव, गृह सचिव, पुलिस महानिदेसंदेह को नोटिस जारी किया और उनसे चार हफ्ते में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है ।
स्त्राेत : जनसत्ता