उत्तरप्रदेश में कानून तथा सुव्यवस्था की धज्जियां ! एेसी घटना यदि अन्य धर्मिय प्रमुखों के विषय में होती, तो अब तक देशभर में निषेध तथा आन्दोलन की शुरुवात हो जाती ! – सम्पादक, हिन्दूजागृति
बागतप : पश्चिम उत्तर प्रदेश में कुछ अज्ञात लोगों ने साधु-संतों पर आक्रमण किया । अमानवीय यातनाओं की हदें पार कर दी। बागपत के किरठल गांव में तपस्यारत साधु का शरीर गर्म सरियों से जगह-जगह दागा गया। मथुरा में तो सारी हदें पार करने के बाद मोहन संन्यास आश्रम महंत की हत्या कर दी गई। इसी आश्रम में एक वकील को भी बेरहमी से मौत के घाट उतारा गया।
वृंदावन में दो की हत्या
वृंदावन के गोधूलिपुरम स्थित मोहन संन्यास आश्रम में अधिवक्ता की निर्ममता से हत्या कर दी गई। इसके बाद महंत का शव फंदे पर लटका मिला। आश्रम से एक छात्र लापता है। मोहन संन्यास आश्रम में अलीगढ निवासी पीयूष पढता है। उसका भाई अखिलेश उससे मिलने आज सुबह आठ बजे पहुंचा। यहां उसे महंत राजेंद्रानंदपुरी मिले। उन्होंने पीयूष के सब्जी लेने जाने की जानकारी दी। एक घंटे बाद वह नहीं लौटा तो अखिलेश ने आश्रम में प्रवेश करना चाहा। महंत ने उसे यह कहकर रोका कि पीयूष अभी नहीं आया है। अखिलेश को अनहोनी की आशंका हुई। सूचना देने पर पुलिस को पहुंचने में चार घंटे लग गए। जब पुलिस पहुंची तो देखकर दंग रह गई। ५० वर्षीय महंत राजेंद्रानंद फांसी के फंदे पर झूल रहे थे तो दूसरे कमरे मे ५५ वर्षीय अधिवक्ता प्रभाष का रक्तरंजित शव पड़ा था। पीयूष का पता नहीं लगा। एसएसपी मोहित गुप्ता और एसपी सिटी अशोक कुमार ने बताया कि छात्र की तलाश को टीम गठित कर दी हैं।
साधु को गर्म सरियों से दागा
बागपत के रमाला थाना क्षेत्र के किरठल गांव में तपस्यारत एक साधु के शरीर को गर्म सरियों से कई जगह दागा। गुप्तांग को भी गर्म सरिये से जख्मी कर दिया। किरठल गांव निवासी सूबेराम घर-परिवार छोड साधना करने गया था। गांव में कुटिया बना तपस्या कर रहा था। परिवार के अन्य सदस्य देहली में रहते हैं। पीडि़त के अनुसार, रात्रि में कुटिया में छह असामाजिक तत्व घुस गए, जहां उन्होंने शराब पी। विरोध किया तो पिटाई शुरू कर दी। बंधक बनाकर पीटा। इसी बीच दो आरोपियों ने वहां पड़े सरियों को गर्म किया और साधु के शरीर को कई जगह दाग दिया। शोर मचाने पर मुंह में कपड़ा और फिर गर्म सरिया नाजुक अंगों में डाल दिया और भाग गए।
स्त्रोत : प्रदेश जागरण